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#आईफोन की कीमत में गिरावट
vicharodaya · 2 years
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iPhone 11 पर जमकर मिल रहा डिस्काउंट, मात्र 36,999 रुपये हुई कीमत, यह मौका लूट से कम नहीं
iPhone 11 पर जमकर मिल रहा डिस्काउंट, मात्र 36,999 रुपये हुई कीमत, यह मौका लूट से कम नहीं
आईफोन इलेवन की कीमत पर आई भारी,गिरावट जल्द उठाएं इस ऑफर का लाभ अगर आप iPhone लवर हैं और अपने लिए कोई नया आईफोन खरीदने का प्लान कर रहे हैं तो Flipkart Mobile Bonanza आपके लिए मौका लेकर आई हैं। जी हां सेल के दौरान iPhone 11 पर जमकर डिस्काउंट मिल रहा है। आईफोन 11 पर कीमत में कटौती, बैंक ऑफर और एक्सचेंज ऑफर का लाभ मिल रहा है। आइए आईफोन 11 पर मिलने वाली डील्स से लेकर फीचर्स और स्पेसिफिकेशंस के बारे…
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krazyshoppy · 2 years
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फ्लिपकार्ट Big Billion Days 2022 में सस्ता होगा iPhone 13, सभी मॉडल्स पर मिलेंगे ऑफर्स
फ्लिपकार्ट Big Billion Days 2022 में सस्ता होगा iPhone 13, सभी मॉडल्स पर मिलेंगे ऑफर्स
Apple iPhone Price on Sale : फ्लिपकार्ट की सबसे बड़ी सेल बिग बिलियन डेज 2022 जल्द ही शुरू होने वाली है, जिसमें आपको कई ऑफर्स और डिस्काउंट मिलेंगे. जो लोग सेल का काफी टाइम से इंतजार कर रहे थे यह उनके लिए एक अच्छा मौका है. बता दें की इस सेल में iPhone 13 पर काफी अच्छा डिस्काउंट मिलेगा साथ ही सभी पुराने आइफोन अच्छे ऑफर्स में उपलब्ध होंगे. आइफोन 14 सीरीज के साथ ही एप्पल ने आइफोन 13, iPhone 12 mini और…
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publictaknews · 3 years
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आईफोन 13 प्रो मुफ्त में? यहां आपको जानने की जरूरत है
आईफोन 13 प्रो मुफ्त में? यहां आपको जानने की जरूरत है
[ad_1] नई दिल्ली: अधिकांश उपभोक्ता Apple iPhone प्राप्त करने की इच्छा रखते हैं। IPhone 13 प्रो सबसे हालिया मॉडलों में से एक है। दूसरी ओर, iPhones, अपमानजनक रूप से महंगे हैं। लेकिन क्या होगा अगर हम आपसे कहें कि iPhone 13 Pro की कीमत में नाटकीय रूप से गिरावट आई है? इतना ही नहीं Apple iPhone 13 Pro को फ्री में दे रहा है। हां, तुमने उसे ठीक पढ़ा। यदि आप संयुक्त राज्य अमेरिका में छुट्टियों के मौसम से…
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col-life23 · 4 years
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Apple भारत में Iphone की कीमत घटा सकता है Rt | iPhone की बिक्री में गिरावट, Apple भारत में कीमतें घटा सकता है
Apple भारत में Iphone की कीमत घटा सकता है Rt | iPhone की बिक्री में गिरावट, Apple भारत में कीमतें घटा सकता है
अगर आप आईफोन खरीदने की योजना बना रहे हैं तो यह आपके लिए अच्छा समय हो सकता है क्योंकि आईफोन इसकी कीमतें कम कर सकता है। गैजेट नाउ के अनुसार, चीन के बाद, यह भारत में भी ऐसा करने जा रहा है क्योंकि भारत में यह माना जाता है कि iPhone सबसे महंगा फोन है। Apple के CEO टिम कुक ने कहा था कि कई ऐसे सेक्टर हैं जहां iPhone की बिक्री नहीं बढ़ रही है। मंगलवार को टिम ने कहा कि पिछले साल iPhone के राजस्व में 15…
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ajitnehrano0haryana · 5 years
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नई दिल्ली। ऐपल के iPhone SE 2 को लेकर काफी दिनों से बाजार में चर्चा हो रही है। यह कम कीमत वाला आईफोन अपने पुराने मॉडल से ज्यादा पावरफुल होने की उम्मीद है। यह भी कहा जा रहा है कि इसे जनवरी 2020 में iPhone 9 के नाम से लॉन्च किया जा सकता है। अब इस फोन के डिजाइन से जुड़ी बड़ी लीक सामने आई है।
एक विडियो के जरिए फोन का लुक दिखाया गया है। दिखने में यह स्मार्टफोन काफी हद तक iPhone 8 जैसा लग रहा है, जिसमें सिंगल रियर कैमरा, पतले बेजल और Touch ID को साफ देखा जा सकता है।
iPhone 9 के स्पेसिफिकेशंस oneleakes ने इस फोन की कुछ तस्वीरें लीक की हैं। इसमें कम्प्यूटर ग्राफिक्स से तैयार डिजाइन (CAD) और उसका 360 डिग्री विडियो दिखाया गया है। यह दिखने में भले ही आईफोन 8 जैसा लग रहा हो लेकिन कई मामलों में यह अलग भी होगा। iPhone SE 2 में आईफोन 11 प्रो की तरह फ्रॉस्टड ग्लास फिनिश दी जाएगी, जबकि आईफोन 8 में ग्लॉसी फिनिश दी गई थी।
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इसके अलावा नए आईफोन में आईफोन X की तरह स्टेन्लेस स्टील फ्रेम का इस्तेमाल किया जा सकता है। माना जा रहा है कि नए आईफोन में 4.7 इंच का LCD रेटिना डिस्प्ले होगा। आईफोन XR की तरह नए आईफोन में सिंगल कैमरा दिया होगा। इसमें आईफोन 11 सीरीज वाला A13 Bionic प्रोसेसर और 3 जीबी की रैम दी जा सकती है। आईफोन 9 के 64 जीबी वेरियंट की कीमत 399 डॉलर (करीब 28,700 रुपये) हो सकती है।
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source https://lendennews.com/archives/65248 https://ift.tt/2uw40Bl
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jodhpurnews24 · 6 years
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तुर्की पर प्रतिबंध लगाने को लेकर विश्व में अमेरिका का विरोध
तुर्की के विरुद्ध अमरीका के आर्थिक युद्ध शुरू होने और इस देश की करंसी लीरा की गिरती क़ीमत के साथ ही तुर्की के लोगों ने एर्दोग़ान के आह्वान पर राष्ट्रीय करंसी को मज़बूत करने के लिए मनी चेंजर्स दुकानों का बाहर लाइन लगा दी ताकि इस प्रकार अपने घरों में मौजूद डॉलरों को देश के वित्तीय पहिये में शामिल कर सकें। कुछ दूसरे लोगों ने भी प्रतीकात्मक क़दम उठाते हुए अपने पास मौजूद डॉलरों को आग लगा दी, और कुछ सरकार समर्थकों ने अमरीकी उत्पादों पर प्रतिबंध लगाने के लिए अपने पास मौजूद आईफोन को तोड़ दिया। द्विपक्षीय आदान-प्रदान में लगातार डॉलर को हटाए जाने की सुगबुगाहट पिछले कई सप्ताहों से कई देशों की तरफ़ से आ रही है ताकि इस प्रकार राष्ट्री करंसी को डॉलर के मुकाबले में सुरक्षित बनाया जा सके। हालांकि तुर्क राष्ट्रपति के प्रवक्ता ने तुर्की की जनता से कहा है कि अमरीका के साथ पैदा हुई समस्याएं हल हो जाएंगी।
एर्दोग़ान सरकार के प्रवक्ता इब्राहीम कॉलेन ने कल कहाः उनको आशा है कि अमरीका के साथ पैदा हुई समस्याएं जिनके कारण तुर्की की करंसी लीरा में गिरावट दर्ज की गई है हल हो जाएंगी, लेकिन सबसे पहले वाशिंग्टन को तुर्की के सुप्रीम कोर्ट पर अपना प्रभाव जमाने की कार्यवाही को रोकना होगा।
कॉलेन ने एक संवाददाता सम्मेलन में कहाः अगर अमरीका ने फैसाल किया कि वह एफ़-35 तुर्की को नहीं देंगे, तो तुर्की अपने अधिकारों का प्रयोग करेगा। उन्होंने वादा किया कि लीरा जो कि डॉलर के मुकाबले में रिकार्ड स्तर तक गिर चुका है अपनी पुरानी क़ीमत दोबारा प्राप्त कर लेगा। उन्होंने प्रेस कॉन्फेंस में कहा कि एर्दोग़ान ने बुधवार को जर्मनी की चांसलर मार्केल से बातचीत की है। वह आज फ्रांस के राष्ट्रपति से भी अमरीका तुर्की मतभेद के बारे में बातचीत करेंगे।
कॉलेन ने कहा कि यह बातचीत जर्मनी और फ्रांसीसी पक्ष की मांग पर की गई हैं। इसी प्रकार यह संपर्क ट्रम्प के विरुद्ध प्रतिक्रियाओं के कडे होने को दर्शाता है। अमरीका से भी बातचीत जारी रहेगी, लेकिन शर्त यह है कि अमरीका के रुख़ में भी सुधार हो। एर्दोगान ने कल क़तर के बादशाह से भी मुलाक़ात की, और कॉलेन के अनुसार अमरीका के साथ तुर्की के आर्थिक संकट में क़तर के स्पष्ट समर्थन को दर्शाता है।
दूसरी तरफ़ बुधवार को बीबीसी ने भी अपनी रिपोर्ट में कहा है कि तुर्की सरकार ने कहा है कि अमरीका से आने वाले कुछ सामानों पर टैक्स बढ़ाया जाएगा। तुर्की के सरकारी समाचार पत्र में जारी लिस्ट में चावल, गाड़ियां, शराब, कोलया आदि को देखा जा सकता है।
इस लिस्ट के जारी होने के बाद तुर्की के उप राष्ट्रपति ने अपने ट्वीटर हैडल पर लिखा कि सीमा शुल्क में बढ़ोतरी “अमरीका से मुक़ाबले और आर्थिक आक्रमण के विरुद्ध जैसे को तैसे के जवाब” के तौर पर किया जा रहा है। उससे कुछ घंटों पहले तुर्की के राष्ट्रपति एर्दोग़ान ने भी इशारों में चेतावनी देते हुए कहा था कि संभव है कि अमरीका निर्मित इलेक्ट्रानिक उत्पादों पर प्रतिबंध लगा दिया जाए।
बीबीसी की रिपोर्ट के अनुसार विदेशी लक्जरी सामानों के स्टोर पर खरीदारों की कतार की तस्वीरें प्रकाशित हुई हैं जो दिखाती है कि लोग इन चीज़ों की कीमत बढ़ने से पहले उनको ख़रीद लेना चाहते हैं।
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jayveer18330 · 7 years
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ख़तम हो रही नौकरियां
एक दूसरे को तबाह करती टेलिकॉम कंपनियां
एसएमएस अब कोई भेजता नहीं. कॉल भी इंटरनेट से हो रही है. डाटा मुफ्त मिल रहा है. ऐसे में टेलिकॉम कंपनियां कैसे खुद को बचा पाएंगी. हजारों नौकरियां खत्म हो चुकी हैं और यह सिलसिला रूकने वाला नहीं है.
जबरदस्त हो़ड़, विलय और अधिग्रहण की वजह से भारत में टेलिकॉम क्षेत्र लगातार सिकुड़ रहा है. इससे ग्राहकों की तो पौ-बारह है लेकिन इस क्षेत्र में नौकरियों में लगातार कटौती हो रही है. बीते एक साल में इस क्षेत्र में एक-चौथाई नौकरियां कम हुई हैं. दूसरी ओर, ग्राहकों को पहले के मुकाबले बेहद कम कीमत पर डाटा और लगभग मुफ्त में फोन की सुविधा मिल रही है. खासकर बीते साल रिलायंस जियो के मैदान में उतरने के बाद इस क्षेत्र में परिदृश्य तेजी से बदला है.
नौकरियों में कटौती
दूरसंचार क्षेत्र से जुड़े सूत्रों का कहना है कि इस क्षेत्र में कुल खर्च का लगभग पांच फीसदी वेतन-भत्तों पर खर्च होता है. बीते कुछ वर्षों के दौरान इस क्षेत्र में वेतन आसमान छूने लगा था. लेकिन तब फोन की दरों और डाटा की कीमतों के भी आसमान छूने की वजह से दूरसंचार कंपनियां दोनों हाथों से माल बटोर रही थीं. बीते साल रिलायंस जियो के मैदान में उतरने और फोन व डाटा की मुफ्त सुविधा देने के बाद दूसरी कंपनियों को भी अपनी दरों में कटौती पर मजबूर होना पड़ा. इससे उनके मुनाफे में गिरावट आई और तमाम कंपनियां खर्चों में कटौती के उपाय तलाशने लगी. इस मामले में पहली गाज कर्मचारियों पर ही गिरी. दरों में कटौती की वजह से एयरटेल का मुनाफा वर्ष 2016-17 की आखिरी तिमाही में 72 फीसदी की गिरावट के साथ 373.4 करोड़ रुपये पर आ गया. इसी तरह वोडाफोन के संचालन मुनाफे में 10 फीसदी की गिरावट आई. वित्त वर्ष 2016-17 के दौरान उद्योग का राजस्व पहली बार गिरकर 1.88 लाख करोड़ रुपये तक पहुंच गया. चालू वित्त वर्ष के दौरान इसमें और गिरावट का अंदेशा है.
रिलायंस जियो ने बाकी कंपनियो��� की हालत खस्ता की
मुनाफा घटने की वजह से कंपनियों के विलय व अधिग्रहण की प्रक्रिया भी तेज हुई है. मोटे अनुमान के मुताबिक, इस क्षेत्र में काम करने वाले लगभग तीन लाख कर्मचारियों में से बीते साल भर के दौरान 75 हजार लोगों की नौकरियां चली गईं. उनको या तो निकाल दिया गया या फिर करियर को ध्यान में रखते हुए वह खुद छोड़ कर चले गए.
(एक नजर मोबाइल फोन के सफर पर)
सेलफोन के चार दशक
पहला सेलफोन
मोटोरोला के वाइस प्रेसीडेंट मार्टिन कूपर ने 1973 में पहला व्यावसायिक मोबाइल फोन पेश किया. डायनाटेक 10 साल बाद बाजार में आया और उसकी कीमत थी 4000 डॉलर.
शुरुआती मुश्किलें
70 साल पहले मोबाइल फोन रखने वाले 25 पाउंड का फोन लेकर चला करते थे. उसकी पहुंच भी सीमित थी और लाइन मिलाने का काम टेलिफोन एक्सचेंज से होता था.
पॉकेट फोन
1989 में पेंट की जेब में आनेवाला पहला सेलफोन बाजार में आया. मोटोरोला का माइक्रोटेक बंद और खोला जाने वाला पहला फोन था. इसके साथ छोटे फोन का ट्रेंड शुरू हुआ.
जेब में दुनिया
1992 की गर्मियों में डिजिटल मोबाइल फोन का समय शुरू हुआ. अब विदेशों में भी फोन करना संभव था. 2जी सेवा में सक्षम मोटोरोला 3200 उस जमाने के हिसाब से बहुत छोटा था.
एसएमएस की शुरुआत
1994 में शॉर्ट मैसेज सर्वि�� की शुरुआत हुई. शुरू में यह ग्राहकों को सूचना देने के लिए था, लेकिन जल्द ही छोटा संदेश भेजना टेलिफोन के बाद सबसे कामयाब कारोबार बन गया ।
घर घर में सेलफोन
1997 के बाद हैंडसेटों की बिक्री में भारी तेजी आई. नए नए मॉडल बाजार में आने लगे और वे लोगों के चहेते यंत्र बन गए. प्रीपेड कार्डों के चलन ने सेलफोन को और लोकप्रिय बनाया.
पहला स्मार्टफोन
1999 में आया नोकिया 7110 पहला फोन था जिसमें वायरलेस एप्लिकेशन प्रोटोकॉल की सुविधा था. इसके जरिए वेब पर जाया जा सकता था. मोबाइल इंटरनेट क्रांति की शुरुआत.
मिनी कंप्यूटर
इसके बाद तो तकनीकी विकास को पर लग गए. रंगीन डिसप्ले, एपपी3 प्लेयर, रेडियो और वीडियो फंक्शन सामान्य हो गए. कुछ साल बाद तो सेलफोन पर टीवी भी देखना संभव था.
फैशन फोन
मोटोरोला रेजर नाम का कैमरा फोन 2004 में बाजार में आते ही छा गया, हालांकि उसे फैशन फोन के रूप में उतारा गया था. 2006 के मध्य तक 5 करोड़ से ज्यादा फोन बिके.
नया जमाना
2007 में एप्पल पहला आईफोन लेकर आया. टचस्क्रीन वाले फोन ने सेलफोन बाजार में क्रांति ला दी. इस पहले यूजर फ्रेंडली फोन में 2001 से उपलब्ध 3जी सुविधा भी डाली गई. .
भविष्य के फोन
एलटीई के साथ मोबाइल फोन की चौथी पीढ़ी शुरू हो चुकी है. घर, कार और दफ्तर को फोन के साथ जोड़ा जा रहा है. स्मार्टफोन से पेमेंट भी संभव होगा.
रोजगार तलाशने वाली एक वेबसाइट के पार्टनर केसी रामचंद्रन कहते हैं, "ज्यादातर मामलों में कर्मचारियों से इस्तीफे मांग लिए गए और कुछ मामलों में उनको मुआवजे के तौर पर तीन से छह महीने तक का वेतन दिया गया." वह कहते हैं कि अभी तो यह शुरूआत है. विलय प्रस्तावों को अमली जामा पहनाए जाने नौकरियां और घटेंगी. रामचंद्रन कहते हैं कि जिन लोगों की नौकरियां जा रही हैं उनमें से ज्यादातर लोग मध्यक्रम या वरिष्ठ प्रबंधन स्तर के हैं. उनके लिए अब दूसरे क्षेत्रों में नौकरी तलाशना बेहद मुश्किल साबित होगा.
एक अन्य फर्म एबीसी कंसल्टेंट्स के कार्यकारी निदेशक विवेक मेहता कहते हैं, "अब तक नौकरी से हटाए गए या इस्तीफा देने वालों में 25 से 30 फीसदी मध्यक्रम के प्रबंधन का हिस्सा थे." वह भी कहते हैं कि कई कंपनियों के विलय के प्रस्तावों को अब तक अंतिम स्वरूप नहीं दिया गया है. विलय प्रस्तावों को अमली जामा पहनाने की स्थिति में मैनपावर में और कम से कम 15 फीसदी कटौती तय है.
जियो का असर
बीते साल सितंबर में रिलायंस जियो के मौदान में उतरने के बाद राजस्व व मुनाफा तेजी से घटने के बाद टेलिकॉम कंपनियों में खुद को मजबूत करने की होड़ मची है. यह क्षेत्र फिलहाल पांच लाख करोड़ के कर्ज के बोझ से हांफ रहा है. दूसरे नंबर पर रही वोडाफोन और तीसरे नंबर की आइडिया विलय की राह पर हैं. दूसरी ओर, पहले टेलीनोर इंडिया को खरीद चुकी भारती एयरटेल ने टाटा टेलीसर्विसेज के वायरलेस कारोबार को खरीदने का एलान किया है. रिलायंस कम्युनिकेशंस भी अब काल सुविधा खत्म कर चुकी है. इसी तरह एयरसेल भी अपना कारोबार सीमित करने का मन बना चुकी है.
सूत्रों का कहना है कि सिर्फ मोबाइल फोन कंपनियां ही नहीं बल्कि वेंडर और टावर कंपनियां भी इसी समस्या से जूझ रही हैं. रोजगार मुहैया कराने वाली तमाम वेबसाइटों का कहना है कि हाल में दूरसंचार क्षेत्र में काम करने वाले कर्मचारियों का बायोडाटा आने की गति तेज हुई है. यह वैसे लोग हैं जो समय रहते दूसरी नौकरियां तलाशने का प्रयास कर रहे हैं.
एक फर्म हेडहंटर्स इंडिया के अध्यक्ष के लक्ष्मीकांत कहते हैं, "टेलिकॉम क्षेत्र में वरिष्ठ प्रबंधन स्तर पर नई नौकरियां तेजी से कम हुई हैं. इसके अलावा उद्योग में मैनपावर 25 से 33 फीसदी तक कम हुई है. "  
टेलिकॉम उद्योग से जुड़े विशेषज्ञों का कहना है कि इस क्षेत्र में लगभग डेढ़ लाख रोजगार खत्म होने वाले हैं. इसकी वजह यह है कि तेजी से बढ़ती चुनौतियों के माहौल में वह लागत घटाने के लिए लगातार जूझ रहा है. रेटिंग एजंसी क्रिसिल ने अपनी एक रिपोर्ट में कहा है कि डाटा ग्राहकों के लिए कीमतों में कटौती की लगातार बढ़ती होड़ के चलते टेलिकॉम आपरेटरों को जो झटका लगा है उससे उबरना बेहद मुश्किल साबित होगा. रिपोर्ट के मातिबक, इस होड़ के खत्म होने पर इसके फायदे नजर आएंगे. लेकिन फिलहाल तो इस क्षेत्र की मुश्किलें कम होने के आसार कम ही हैं.
(किस देश में मोबाइल डाटा की कितनी खपत)
15. मेक्सिको
प्रति मोबाइल: .74 जीबी प्रतिमाह
14. जर्मनी
प्रति मोबाइल: 1.21 जीबी प्रतिमाह
13. कनाडा
प्रति मोबाइल: 1.49 जीबी प्रतिमाह
12. ऑस्ट्रेलिया
प्रति मोबाइल: 1.54 जीबी प्रतिमाह
11. फ्रांस
प्रति मोबाइल: 1.62 जीबी प्रतिमाह
10. यूके
प्रति मोबाइल: 1.84 जीबी प्रतिमाह
9. जापान
प्रति मोबाइल: 2.12 जीबी प्रतिमाह
8. तुर्की
प्रति मोबाइल: 2.22 जीबी प्रतिमाह
7. अमेरिका
प्रति मोबाइल: 2.67 जीबी प्रतिमाह
6. स्विट्जरलैंड
प्रति मोबाइल: 2.71 जीबी प्रतिमाह
5. पोलैंड
प्रति मोबाइल: 3.55 जीबी प्रतिमाह
4. दक्षिण कोरिया
प्रति मोबाइल: 3.83 जीबी प्रतिमाह
3. स्वीडन
प्रति मोबाइल: 4.38 जीबी प्रतिमाह
2. ऑस्ट्रिया
प्रति मोबाइल: 6.28 जीबी प्रतिमाह
1. फिन���ैंड
प्रति मोबाइल: 10.95 जीबी प्रतिमाह
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iPhone 13 लॉन्च से पहले फ्लिपकार्ट पर iPhone 12 की कीमतों में गिरावट
iPhone 13 लॉन्च से पहले फ्लिपकार्ट पर iPhone 12 की कीमतों में गिरावट
नई दिल्ली: 14 सितंबर को ऐप्पल के वार्षिक कार्यक्रम में इस सप्ताह iPhone 13 श्रृंखला के अपेक्षित लॉन्च के साथ, यहां छूट की कीमतों पर उपलब्ध iPhones की वर्तमान पीढ़ी को हथियाने का एक अच्छा मौका है। क्यूपर्टिनो स्थित आईटी दिग्गज से आईफोन 13 श्रृंखला को बहुत शक्तिशाली प्रोसेसर, हार्डवेयर अपग्रेड और अन्य परिवर्तनों के साथ लॉन्च करने की उम्मीद है। अपेक्षित लॉन्च ने पहले ही मौजूदा iPhone 12 श्रृंखला की…
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रीफर्बिश्ड या यूज्ड आईफोन खरीदने की योजना बना रहे हैं? यहां बताया गया है कि कैसे जांचें कि यह मूल और अच्छी स्थिति में है या नहीं
रीफर्बिश्ड या यूज्ड आईफोन खरीदने की योजना बना रहे हैं? यहां बताया गया है कि कैसे जांचें कि यह मूल और अच्छी स्थिति में है या नहीं
नई दिल्ली: भारत में हर कोई आईफोन खरीदना चाहता है. कई लोगों के लिए, यह एक स्टेटस सिंबल है, और इसकी कीमत के साथ बहस करना मुश्किल है। हालाँकि, भारत उन क्षेत्रों में से एक है जहाँ Apple पुराने मॉडल बेचना जारी रखता है क्योंकि वे कम महंगे हैं, जिससे वे व्यापक दर्शकों के लिए अधिक सुलभ हो जाते हैं। उदाहरण के लिए, जब iPhone 13 जारी किया गया था, तो iPhone 11 श्रृंखला की कीमतों में गिरावट आई, जिससे वे और…
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आईफोन 13 खरीदने की योजना बना रहे हैं? इसे सस्ता करने का तरीका यहां बताया गया है
आईफोन 13 खरीदने की योजना बना रहे हैं? इसे सस्ता करने का तरीका यहां बताया गया है
नई दिल्ली: अगर आप साल के अंत तक आईफोन 13 या कोई नया आईफोन खरीदने की सोच रहे हैं तो आपको रुक जाना चाहिए। बस अपनी छुट्टियों की खरीदारी सूची से iPhone 13 (या किसी अन्य iPhone) को पार करें। क्यों? क्योंकि इस साल आपको कोई भी आईफोन खरीदने की इजाजत नहीं है। आदेश को होल्ड पर रखें। हाल के शोध के अनुसार, 2022 में iPhone की कीमत में नाटकीय रूप स��� गिरावट आएगी। इसका मतलब है कि अगर आप अगले साल एक iPhone खरीदते…
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abhay121996-blog · 4 years
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#Divyasandesh
दुनिया में 1 अरब से ज्यादा iPhone, iPhone 12 ने बनाए नए रिकॉर्ड
अमेरिकी टेक कंपनी हर साल अपने नए लेकर आती है और आईफोन के दीवाने हर साल नए आईफोन खरीदते रहते हैं। अगर यह कहा जाए कि दुनिया में के करोड़ों दीवाने मिल जाएंगे तो यह बिलकुल भी गलत नहीं होगा। वैसे तो आईफोन अपनी कीमत अधिक होने की वजह से हर किसी के बजट में यह आसानी से समाता नहीं है, लेकिन आज हम आपको एक ऐसी जानकारी बताने जा रहे हैं, जिसे जानकर आप भी हैरान रह जाएंगे।
हर साल लगातार आईफोन के मौजूदा यूजर्स यानी कि धरती पर एक्टिव आईफोन की यूनिट्स में बढ़ोतरी होती जा रही है। पिछले साल एप्पल ने सीरीज को दुनिया में लॉन्च किया और इसके चलते बिक्री लगातार बढ़ती जा रही है। हाल ही में एप्पल ने बताया है कि दुनिया में एक्टिव आईफोन की संख्या बढ़कर 1 बिलियन यानी कि एक अरब (1,000,000,000) के पार पहुंच गई है। कंपनी ने गुरुवार को बताया कि अब तक बेचे जा चुका आईफोन में एक बिलियन आईफोन धरती पर चल रहे हैं।
कंपनी को आईफोन की बिक्री से दिसंबर की तिमाही में 65.6 बिलियन राजस्व प्राप्त हुआ था। अगर साल दर साल के हिसाब से बात करें तो कंपनी को इसमें करीब 17 फीसद का इजाफा हुआ। कंपनी ने इस रिकॉर्ड को iPhone 12 की जबरदस्त मांग के चलते बनाया है और यह सब कोरोना के दौर में मुमकिन हुआ है, जहां सब कुछ गिरता हुआ ही नजर आ रहा था। एप्पल ने आईफोन 12 सीरीज को पिछले साल लॉन्च किया था। जिसमें आईफोन 12, आईफोन 12 प्रो, आईफोन 12 प्रो मैक्स, आईफोन 12 मिनी शामिल हैं।
कंपनी ने एक्टिव डिवाइस की संख्या में तेजी हासिल की है। कंपनी दिसंबर तिमाही के दौरान ग्लोबल लेवल पर 1.65 बिलियन डिवाइस के आंकड़े को पार कर चुकी है। साल दर साल में iPhone की बिक्री में 17 फीसद इजाफा हुआ है और यह आईफोन 12 की मजबूत मांग के कारण हुआ है। फिलहाल iPhone का एक्टिव इंस्टॉल बेस 1 अरब से ज्यादा है। iPhone 12 के प्रति ग्राहकों की प्रतिक्रिया काफी बेहतरीन रही है। नए आईफोन 12 को ग्राहक उसके वर्ल्ड क्लास कैमरों और दमदार 5 जी कनेक्टिविटी के चलते काफी पसंद कर रहे हैं। जहां कोरोना के दौर में अधिकतर जगह गिरावट का सामना किया गया, लेकिन इसके बावजूद भी रिटेल बिक्री शानदार रही है।’
अमेरिका में हाल ही में हुए सर्वे में यह पता चला कि आईफोन ग्राहक iPhone 12 के चलते 98 फीसद संतुष्ट हैं। वहीं आईपैड और मैक की बात की जाए तो iPad में 41 फीसद और Mac में 21 फीसद वृद्धि हुई है। अगर बात करें इस तिमाही की तो कंपनी के नए iPad Air और Mac की फर्स्ट जेनरेशन के लिए एप्पल की ग्राउंडब्रेक M1 चिप का इस्तेमाल किया गया है। इस दौरान इन सभी प्रोडक्ट्स की डिमांड काफी जबरदस्त रही है। अगर प्रोडक्ट रेवेन्यू की बात करें तो इस साल 21 फीसद की ग्रोथ के साथ 95.7 बिलियन डॉलर का राजस्व प्राप्त हुआ है जो कि अब तक का सबसे अधिक और एक रिकॉर्ड है।
Apple ने दिसंबर तिमाही में सबसे ज्यादा पहली बार 111.4 बिलियन का राजस्व हासिल किया है। अगर कुल इनकम की बात करें तो यह 28.8 बिलियन डॉलर हुई थी जो कि पिछले साल की तुला में 6.5 बिलियन डॉलर या 29 फीसद अधिक थी। कंपनी की सर्विस ने 15.8 बिलियन डॉलर का ऑल-टाइम रिकॉर्ड बनाया है जो कि साल दर साल के हिसाब से 24 फीसद ज्यादा है। कंपनी ने सभी क्षेत्रों में अधिकतर सर्विस कैटेगरी और दिसंबर तिमाही के रिकॉर्ड में बिलकुल नए रिकॉर्ड बनाए हैं।
पेड सब्सक्रिप्शन की बात करें तो इसमें भी बेहतरीन बढ़ोतरी हो रही है। कंपनी ने 2020 के आखिर तक 600 मिलियन पेड सब्सक्रिप्शन के अपने टार्गेट को पार किया। दिसंबर तिमाही के दौरान Apple ने 35 मिलियन से अधिक पेड सब्सक्रिप्शन को शामिल किया। अब कंपनी के प्लेटफॉर्म पर 620 मिलियन से अधिक पेड सब्सक्राइबर हैं। अगर एक साल पहले की बात करें तो यह सिर्फ 140 मिलियन ही थे
पहनने की सामग्री, घर का सामान और अन्य एक्सेसरीज में साल दर साल के हिसाब से 30 फीसद इजाफा हुआ है जो कि बढ़करक 13 बिलियन डॉलर पहुंच गए हैं। हर क्षेत्र में इस बार बिलकुल नए राजस्व के रिकॉर्ड बने हैं। कंपनी को Mac से दिसंबर तिमाही में 8.7 बिलियन का राजस्व प्राप्त हुआ जो कि बीते साल प्राप्त हुए राजस्व से करीब 21 फीसद ज्यादा है। कंपनी के इस बेहतरीन प्रदर्शन की वजह बिलकुल नई M1 चिप पर बेस्ड , और की मजबूत डिमांड है।
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