climate change: दुनिया में बढ़ती गर्मी से उजड़ सकता है मत्स्य जीवन : रिसर्च - fish life and coral reefs can be destroyed by rising heat in the world
climate change: दुनिया में बढ़ती गर्मी से उजड़ सकता है मत्स्य जीवन : रिसर्च – fish life and coral reefs can be destroyed by rising heat in the world
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सांकेतिक चित्र
बर्लिन
दुनिया में तेजी से हो रहे जलवायु परिवर्तन के कारण मत्स्य उद्योग और प्रवाल भित्ति पर्यटन बर्बाद हो सकता है जिससे वर्ष 2050 तक सैकड़ों अरब डॉलर का नुकसान हो सकता है। यह 14 समुद्र तटीय देशों द्वारा किए गए एक अध्ययन में कहा गया है। मैड्रिड में संयुक्त राष्ट्र जलवायु शिखर सम्मेलन में शुक्रवार को प्रकाशित होने वाली रिपोर्ट में यह कहा गया है।
ग्लोबल वॉर्मिंग को नियंत्रित करने…
अब तक 100 नवजातों की मौत, मायावती ने कहा- जिसकी गोद उजड़ी, प्रियंका गांधी उस मां से क्यों नहीं मिलीं?
अब तक 100 नवजातों की मौत, मायावती ने कहा- जिसकी गोद उजड़ी, प्रियंका गांधी उस मां से क्यों नहीं मिलीं?
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जयपुर/कोटा. राजस्थान के कोटा मेंजेके लोन अस्पताल में नवजातों कीमौत का सिलसिला नहीं थम रहा है। बुधवार काे एक और नवजात की मौत हुई।प्रसूतिविभाग के ई-वाॅर्ड में भर्ती 4 दिन की बच्ची ने दम ताेड़ दिया। उसकी माैत का कारण तेज ठंड काे माना जा रहा है। गत 30-31 दिसंबर काे इस अस्पताल में 9 नवजातोंकी माैत हुई। दिसंबर माह में नवजाताें की माैत का आंकड़ा 100 तक पहुंच गया। 2019 में यहां 963 बच्चों ने दम…
गाजियाबाद 25 फरवरी (एजेंसी) माया ममता चैरिटेबल ट्रस्ट की ओर से दीनदयाल पुरी नंदग्राम के सेवा भारती विवेकानंद विद्या मंदिर में नशा मुक्त भारत पर कार्यशाला का आयोजन किया गया। कार्यशाला में बच्चों को नशे से होने वाले नुकसान से अवगत कराया गया। संस्था की अध्यक्ष ममता गुप्ता ने नाश की जड है। इसके सेवन से जहां कई प्रकार के जानलेवा रोग होते हैंए वहीं परिवार के परिवार उजड जाते हैं। नशा मुक्त भारत के सपने…
मानव शरीर को ऑक्सीजन की आवश्यकता है। उसके स्थान पर तम्बाकू का धुँआ (कार्बनडाईऑक्साइड) प्रवेश करता है। तो उनको खाँसी रोग हो जाता है। और तम्बाकू जान लेवा है इससे कई परिवार उजड गये अपने लिये नही तो अपनो के लिये आप आज से तम्बाकू का त्याग करें। @viktoria.sharm @girls.heart.saying #tobaccobasket #tobaccopipes #SANews #saintrampalji #worldnotobaccoday #tobaccovanille #sikar #sikario (at Piprali Road, Sikar) https://www.instagram.com/p/ByHwtnilAZy/?igshid=136ekcorbxdfo
आम नागरिक पुलिस की विकृत मानसिकता की मजाक के लिये बने है क्या…?
ब्रीटीश काल में अग्रेजो की पुलिस द्वारा आम लोगो पर बेरहेमी से अत्याचार होता था। भारत गुलाम था इसलिये कीसी को बोलने की या विरोध करने की जरा सी भी गुंजाइश नहीं थी। लेकिन अब तो भारत आझाद है, आझादी के 75 वर्ष पूरे होने के जश्न की तैयारीयां चल रही है लेकिन पुलिस की मानसिक्ता में लगता है की कोइ बदलाव नहीं आया या आझादी के बाद सभी सरकारों ने पुलिस की बर्बतावाली मानसिक्ता में बदलाव लाने की कोइ कोशिश लगता है की नहीं की। क्योंकी यदि ऐसा होता तो आम लोगों की पुलिस द्वारा ऐसी पिटाइ नहीं होती जैसी फिरंगीयों के राज में होती थी। देश की राजधानी दिल्ही में एक सिख टैम्पो चालक ने अपने बचाव में सिख धर्म का पालन करते हुये किरपाण या तलवार निकाली लेकिन उससे कीसी पुलिस की जान नहीं गई मगर उसके साथ क्या किया…? इस सिख के शरीर पर पुलिस की लाठीयों के जो निशान या घाव है उसे देख कर कीसी भी लोकप्रिय नेता को जरूर से गुस्सा आता पुलिस पर लेकिन ऐसा कुछ नहीं हुवा। हम तो जीत गये, ताक्त है कीसी की कि पांच साल से पहले दूर करे….ये मानसिक्ता जैसी ही पुलिस की मानसिक्ता है की लोग को पिटाइ के लिये ही है…!
युपी में एन्काउन्टर पर आरोप लगे है। कइ मामले अदालत में पहुंचे है। पुलिस ने आधी रात को कार नहीं रोकने पर एपल कंपनी के मैनेजर को नजदिक से गोली मार हत्या कर दी। परिवार को 50 लाख और नौकरी दे कर मामला शांत हो गया। पुलिस के पास गोलीयां खत्म हो गइ तो मूंह से धांय….धांय….बोल के बदमाशो को डराने का मामला भी सामने आया है। अभी एक और विडियो वायरल हुवा। युपी पुलिस द्वारा ही ये विडियो लगाया गया। जिस में पुलिस सरेराह जा रहे बाइक सवार को बंदूक की नोक पर रोक रही है, उसे फिल्मी अंदाज में हैन्ड्स अप कह कर हाथ उपर करने को कहा गया और फिर उप पर बंदूक से निशाना ताक कर उसकी तलाशी ली गइ…! पुलिस ने कहा की ये मोक ड्रिल है….असल में क्या होगा अयोध्यावाले रामजी ही जाने…! पुलिस को बचाव है की कुछ बदमाश पुलिस पर ताबडतोड हमला कर देते है इसलिये बंदूक तानी गइ है ताकी पुलिस पर वार न हो। लेकिन साबजी….यदि ताकी हुई दंबूक से गलती से गोली चल गइ तो…? कीसी निर्दोष की जान गइ, कीसी का परिवार उजड गया और फिर फिर से 25 लाख या 50 लाख देकर मामला शांत। लेकिन दोषी पुलिस को क्या सजा मिली….?
अभी गुजरात में भी एक शराबी को पुलिस ने दिल्हीवाले सिख की तरह इतना पिटा की उसके लाल घाव देख कर सरकार में कीसी का दिल नहीं पिघला। दिल्ही में तो सिखों ने भारी हंगामा किया और अनूठी एक्ता जताइ लेकिन गुजरात में…? मुझे क्या…? मेरा क्या…? गुजरात में सरकार नें पुलिस के सामने क्या ऐक्शन लिया रामजी जाने। युपी हो या गुजरात या फिर दिल्ही.. क्या पुलिस की मानसिक्ता विकृत होती जा रही है….? धांय….धांय…और हैन्ड्स अप जैसा करने से क्या वे मजा ले रहे है….? क्या भारत का आम आदमी पुलिस की मजाक का भद्दा शिकार बनता जा रहा है क्या…? सरकार को देश के मनोरोगी चिकित्सकों की सेवायें लेकर ऐसे पुलिसवालों का मानसिक परिक्षण या जांच करवानी चाहिये ताकि कोइ निर्दोष उनकी गोली का निशाना न बने। भारी रकम दे कर मामला शांत तो हो जाता है लेकिन ऐसा क्यों हुवा और उसे फिर से रोकने के लिये क्या किया जाना उसका अध्ययन विदेश की तरह भारत में कितना होता…? यदि होता है या हुवा है तो उसकी रपट सार्जनिक होनी चाहिये। वर्ना होता ये की आज तो बंदूक तान कर HANDS UP कहा….कल को तो आम नागरिक को जमीन पर लिटा दिये जायेंगे पुलिस की सुरक्षा के लिये…और पुलिस गोली भी मार दे तो भी क्या…! इस मानसिक्ता के खिलाफ नागरिक संगठनें सरकार में पेशकश करें और लोकतंत्र में पुलिस पर लोगो का और कानून का डर हो ऐसा माहौल कब होंगा…? अरे….ये हैन्ड्स अप की आवाज कहां से आ रही….? बंगाल से…? क्या कहा…जयश्री राम बोलने पर पुलिस ने गोली चलाइ….? बंगाल की पुलिस ऐसा करे तो गुड…गुड…वेरी गुड लेकिन युपी में गोली चले तो….वो तो छंटा हुवा बदमाश था, पुलिस ने सही किया…मंदिर वही बनायेंगे….अरे भाइ तारीख तो बताइये आप ही के साथी शिवसेना जानना चाह रहे है, लोग तो बेचारे दो वक्त की रोटी के लिये….पुराना हो या नया हो भारत में, पसीना बहा रहे है…आप दंबूक तानो…लाठीयां चलावो…बोले सो निहाल….सतश्री अकाल…!
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केरल बाढ:तेजाब हमले के पीड़ितों ने बढाएं मदद के लिए हाथ,उपलब्ध करवा रहे जरूरत का सामान
(मुंबई): केरल में इस समय चारों तरफ हाहाकार मचा है। राज्य में आई सदी की सबसे बड़ी बाढ ने लोगों को मूलभूत सुविधाओं का भी मोहताज बना दिया हैं। लाखों घर उजड गए हैं और लोगों के खाने के भी लाले पड गए हैं। ऐसे में सहयोग के लिए पीड़ितों की नजर देश की तरफ है। यह भारत की एकता का बेजोड नमूना है कि पूरा देश इस विकट समस्या में केरल के साथ खड़ा है और सभी अपने अपने तरीके से सहयोग कर रहे है। इसी क्रम में मुंबई के एक ग्रुप ने भी बाढ पीड़ितों को जरूरत के सामान उपलब्ध करवाने की मुहिम शुरू की है। तेजाब हमले का दंश झेल चुके पीड़ित इस ग्रुप के सदस्य हैं।
इस ग्रुप के सदस्यों का कहना है कि हम केरल बाढ पीड़ितों के लिए जरूरत के सामान उपलब्ध करवा रहे है। इनमें टूथपेस्ट, खाने का सामान,सेनेटरी नैपकिन आदि चीजें शामिल है। उनका कहना है कि केरल इस समय बड़ी मुश्किल में फंसा हुआ है,संकट की इस घड़ी में हमे साथ आने की जरूरत है। इस ग्रुप की और से चलाई जा रही मुहिम की चारों ओर सराहना की जा रही है।
#Maharashtra: A group of acid attack survivors in Mumbai has collected relief material for #KeralaFlood victims. Members say, 'we are providing daily use items such as toothpaste, food items, sanitary napkins etc. In this hour of need, we need to stand by each other.' pic.twitter.com/u0W0Yazr2u
— ANI (@ANI) August 23, 2018
क्यूं बने ऐसे हालात
बता दें कि इस प्राकृतिक आपदा ने पूरे केरल की कमर तोड़ दी है। सैंकडों लोग अपनी जान गंवा चुके हैं और लाखों लोग बेघर हो गए है। बताया जा रहा है कि भारी बारिश के साथ साथ ही एक और कारण है जिससे यह भयावह हालात पैदा हुएं। मुल्लापेरियर बांध से पानी छोड़ना भी राज्य में आई इस विकराल बाढ का कारण माना जा रहा है। केरल सरकार की ओर से जारी हलफनामे में इस बात का जिक्र किया गया है। मालुम हो कि केरल के बाढ पीड़ितों की मदद के लिए पूरा देश एकजुट खड़ा है। केंद्र सरकार के साथ साथ लगभग सभी राज्यों की सरकारों ने सहयोग राशि दी हैं। वहीं सोशल मीडिया पर भी सहयोग के लिए अभियान चलाएं जा रहे हैं।
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