PMJJBY क्या है मात्र 436 रुपये में पाएं 2 लाख का जीवन बीमा 50 वर्ष तक
PMJJBY Yojana: आजकल जीवन बीमा लेना बेहद जरूरी हो गया है यह हमारे और हमारे परिवार के भविष्य को सुरक्षित करने का एक महत्वपूर्ण तरीका है अगर आप यह सोच रहे हैं कि जीवन बीमा लेना महंगा होता है और इसे लेना आपके बजट से बाहर है तो आप गलत हैं। आज हम आपको एक ऐसी जीवन बीमा योजना के बारे में बताएंगे जो न केवल सस्ती है बल्कि अत्यधिक फायदेमंद भी है।
इस योजना का नाम है प्रधानमंत्री जीवन ज्योति बीमा योजना…
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Up Budget 2023-24:अखिलेश बोले, बजट में युवाओं के लिए रोजगार नहीं, शिवपाल बोले- आंकड़ों की बाजीगरी - Akhilesh Yadav Comments On Up Budget 2023-24.
सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव।
– फोटो : amar ujala
विस्तार
सपा अध्यक्ष व नेता विरोधी दल अखिलेश यादव ने कहा कि दिल्ली सरकार ने किसानों और गांव को निराश किया और अब राज्य सरकार बजट में भी किसानों और गांव के लिए कुछ नहीं है। सरकार बताएं क्या किसानों की आय दोगुनी हुई? क्या किसानों को उनकी फसलों की सही कीमत मिल रही है? डीजल की महंगाई से आवागमन ही नहीं महंगा होता बल्कि सड़क, अस्पताल के निर्माण से लेकर खेती…
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Budget 2022: बजट से करदाताओं के लिए और राहत की आस
Budget 2022: बजट से करदाताओं के लिए और राहत की आस
देश में आम बजट उत्पादकता में सुधार होने की उम्मीद है। इस तरह के रोग में राहत देने के लिए आपात स्थिति में है। आर्थिक रूप से परिवर्तन करने के लिए यदि आप सार्वजनिक रूप से सक्षम होने के लिए सक्षम हैं, तो यह सार्वजनिक रूप से कमजोर होगा।
पर्यावरण के विशेषज्ञ देवेंद्र कुमार मिश्रा ने ऐसा ही किया होगा। इस तरह की बातचीत की जाने की उम्मीद है। बुजुर्गों के लिए ये 1 लाख और लोगों के लिए 50 हजार तक है। संभावित…
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Bihar Budget: तारकिशोर प्रसाद ने 218303 करोड़ का बजट पेश किया, महिलाओं और युवाओं पर मेहरबान, जानें किसे क्या मिला
Bihar Budget: तारकिशोर प्रसाद ने 218303 करोड़ का बजट पेश किया, महिलाओं और युवाओं पर मेहरबान, जानें किसे क्या मिला
बिहार विधानमंडल में सोमवार को राज्य का आम बजट उपमुख्यमंत्री सह वित्त मंत्री तारकिशोर प्रसाद ने पेश किया। वित्तीय वर्ष 2021-22 के लिए प्रस्तुत यह बजट मुख्य रूप से राज्य के गांवों पर केंद्रित रहा। इसके साथ ही सरकार महिलाओं और युवाओं पर भी मेहरबान रही।
बजट में योजना मद का करीब 60% हिस्सा गांवों को चमकाने और ग्रामीण आबादी के जीवन स्तर में सुधार लाने पर खर्च होगा। बाकी राशि से राज्य में होने वाले…
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दही, लस्सी, अन्य वस्तुओं पर 18 जुलाई से जीएसटी: क्या हुआ सस्ता, क्या हुआ महंगा?
दही, लस्सी, अन्य वस्तुओं पर 18 जुलाई से जीएसटी: क्या हुआ सस्ता, क्या हुआ महंगा?
दैनिक वस्तुओं में जीएसटी वृद्धि से आम आदमी के घरेलू बजट में वृद्धि होने की उम्मीद है, जो पहले से ही अभूतपूर्व मुद्रास्फीति के दबाव में है।
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केंद्रीय बजट 2022: क्या महंगा हुआ और क्या सस्ता हुआ; पूरी सूची यहां देखें
केंद्रीय बजट 2022: क्या महंगा हुआ और क्या सस्ता हुआ; पूरी सूची यहां देखें
केंद्रीय बजट 2022: केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने अपने केंद्रीय बजट भाषण 2022 में कई उत्पादों के लिए सीमा शुल्क में कई बदलावों की घोषणा की, जो वस्तुओं की कीमत को हमेशा प्रभावित करेगा।
वित्त मंत्री सीतारमण ने रत्न, कटे और पॉलिश किए हुए हीरों पर सीमा शुल्क में 5 प्रतिशत की कटौती की घोषणा की। नकली गहनों और रसायनों पर सीमा शुल्क को भी कम कर दिया गया है, जबकि छतरियों पर सीमा शुल्क को बढ़ाकर…
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बजट 2022 : क्या हुआ महंगा और क्या सस्ता
बजट 2022 : क्या हुआ महंगा और क्या सस्ता, ये जाननें के लिए यहां क्लिक करें
नई दिल्ली। बजट 2022: वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण वित्त वर्ष 2022-2023 का आम बजट लोकसभा में पेश किया। बजट में कई महत्वपूर्ण ऐलान किए गए। बजट में बहुत सी चीजें महंगी की गई हैं, वहीं कुछ चीजों को सस्ता किया जा रहा है। ऐसे में हर किसी की नजर रहती है कि महंगा-सस्ता क्या हुआ है। यहां जानिए पूरी डिटेल ….
बजट 2022 : जानें क्या हुआ सस्ता:
कपड़ा, चमड़े का सामान, मोबाइल फोन, चार्जर, हीरे के आभूषण, खेती के…
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Samsung Galaxy M52 5G रिव्यु: बजट में फिट और भविष्य में बेहतर क्या है?
Samsung Galaxy M52 5G रिव्यु: बजट में फिट और भविष्य में बेहतर क्या है?
मध्य के मध्य-रेंज में सैमसंग ने अपना एक भारतीय टेलीफोन एडा है। पैनासोनिक ने मेँ एक और टेलीफोन गैलेक्सी M52 5G को पेश किया। यह टेलीफोन के हिसाब से महंगा है और रंगीन है। हमारे पास डाटा के लिए गैलेक्सी एम52 8 जीबी के साथ मिलकर 128 जीबी इंटर्नल है। इस तरह से पेश किया गया था और जैसा कि आपके जैसा किया गया था वैसा ही किया गया है। ️ रिव्यू️ रिव्यू️ रिव्यू️ रिव्यू️ रिव्यू️️️️️️️️ डेटा के माध्यम से टेलीफोन…
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आईवीएफ से पहले डॉक्टर से जरुर पूछें इन सवालो को |
इनफर्टिलिटी के ट्रीटमेंट के तौर पर लोग कई तरह के ऑप्शन को अपनाते हैं। कहीं से भी कोई फायदा नहीं होने पर वो उस ऑप्शन की ओर जाते हैं जहां उन्हें बहुत पहले ही चले जाना चाहिए था; वो है आईवीएफ क्लीनिक।
ऐसे में सबसे अच्छा क्लीनिक चुना जाना चाहिए जहां पर सबसे सही सलाह दी जाती है। लेकिन डॉक्टर से मिलने से पहले, पूछे जाने वाले कुछ सवालों की एक लिस्ट बना लेनी चाहिए ताकि उस मीटिंग का पूरा फायदा उठाया जा सके। इस तरह से डॉक्टर से मिलने के बाद आप अपने सारे डाउट खत्म कर पाएंगे।
सही सवाल पूछने से आपके पास ज्यादा से ज्यादा जानकारी आ जाएगी जिससे आपको सही फैसला लेने में मदद मिलेगी। दूसरा, सही जवाब मिलने पर आप अपने डॉक्टर पर विश्वास भी कर पाएंगे और इस बात का ध्यान रखे की आईवीएफ से पहले डॉक्टर से जरुर पूछें इन सवालो को |
क्या आईवीएफ एक ही ट्रीटमेंट ऑप्शन है?
अगर कंसीव करने का कोई और तरीका होगा, तो डॉक्टर आपको सबसे पहले वही तरीका बताएँगे। हालांकि आपको खुद से भी यह सवाल पूछ लेना चाहिए और अगर लाइफस्टाइल चेंज, इंजेक्शन या दूसरे किसी भी तरीके से ट्रीटमेंट हो सकता होगा तो डॉक्टर इन्हें ही आज़माने की सलाह देगा। लेकिन अगर सिर्फ यही तरीका है तो डॉक्टर इसे जल्द से जल्द अपनाने की सलाह देगा क्योंकि उम्र के साथ इसका सक्सेस रेट कम होता जाता है।
क्या मुझे आईवीएफ करवाना चाहिए?
यह सवाल पूछना भी काफी जरूरी हो जाता है। आपकी उम्र, हेल्थ, ओवेरियन रिज़र्व, एंडोमेट्रियल थिकनेस, स्पर्म मोटिलिटी के बारे में जानकर ही डॉक्टर यह बता पाएंगे कि आपके लिए आईवीएफ ट्रीटमेंट को चुनना सही रहेगा या नहीं। आपके डॉक्टर आपको कुछ लाइफस्टाइल चेंज करने के लिए भी कह सकते हैं ताकि आईवीएफ का सक्सेस रेट बढ़ सके।
क्लीनिक का आईवीएफ सक्सेस रेट क्या है?
क्लीनिक के बारे में जानने के लिए उसके सक्सेस रेट का पता होना जरूरी है। एक हाई सक्सेस रेट वाले आईवीएफ क्लीनिक चुनने से यह कन्फ़र्म हो जाता है कि अच्छे डॉक्टर की टीम ही ट्रीटमेंट करेगी जिससे सक्सेस के चांस काफी बढ़ जाते हैं। ऐसे डॉक्टर के पास काफी एक्सपीरियंस होता है जिससे अगर कोई परेशानी भी होती है तो वो आसानी से हालात को संभाल लेते हैं।
हमें यह भी पता होना चाहिए कि सक्सेस रेट से मतलब क्या है। डॉक्टर नायर का कहना है कि सक्सेस रेट का पता लगाने के कोई रेगुलेशन और गाइडलाइन नहीं है. ऐसी कंडीशन में जो क्लीनिक अपना अच्छा सक्सेस रेट दिखाते हैं, उसकी कोई ओथेंटिसिटी नहीं होती है।
अब आईवीएफ का सक्सेस रेट क्यूमूलेटिव बर्थ रेट से पता लगाया जाता है। डॉक्टर नायर ने ऐसे क्लीनिक के लिए थोड़ी सावधानी बरतने को भी कहा जिनका सक्सेस रेट काफी अच्छा है।
क्या आईवीएफ ट्रीटमेंट में इंजेक्शन और दवाई भी शामिल होते हैं या वो एक्सट्रा होते हैं?
यह सवाल पूछकर आप बाद में आने वाले ऐसे खर्चों से बच पाएंगे जिनकी आपको उम्मीद नहीं थी। आईवीएफ जंक्शन पर हम आपको ट्रीटमेंट के दौरान होने वाले सभी खर्चों के बारे में खुलकर बताते हैं जिससे कि आपको पता रहता है कि आपके कितने पैसे लगने वाले हैं। इसके लिए आईवीएफ जंक्शन कोस्ट कैलकुलेटर का यूज़ कर सकते हैं। इसके लिए आपको सिर्फ आईवीएफ जंक्शन कोस्ट कैलकुलेटर को ओपन करना होगा, इसमें वो ट्रीटमेंट इन्सर्ट करें जिसकी सलाह आपके डॉक्टर ने दी है, साइकल के नंबर, और आईवीएफ जंक्शन कोस्ट कैलकुलेटर आपको बता देगा कि आपको कितने पैसे देने होंगे।
ट्रीटमेंट के दौरान आने वाले कोंप्लीकेशन का कोस्ट क्या होगा?
कभी-कभी ट्रीटमेंट के दौरान कुछ कोंप्लीकेशन भी आ जाते हैं जिनका इलाज करना पड़ता है। लेप्रोस्कोपी, हिस्ट्रोस्कोपी, टीईसीए और पीईसीए जैसे ट्रीटमेंट की सलाह दी जा सकती है। इसके लिए आपको सिर्फ उन्हीं ट्रीटमेंट का कोस्ट देना होगा जिसकी सलाह आपके डॉक्टर ने दी है।
आईवीएफ प्रोसेस कितना लंबा है?
इस सवाल को पूछना बेहद जरूरी है ताकि आप उसको ध्यान में रखकर अपना टाइम मैनेज कर सकें। आपको पता होना चाहिए कि आपका प्रोसेस जितना लंबा होगा आपको उतने ही स्कैन, ब्लड चेकअप, प्रोसीज़र, वगैरह से गुजरना होगा। आपको वो सब करना होगा जो आपका डॉक्टर आपको करने के लिए कहेगा। इसके अलावा आपको इस बात का भी ध्यान रखना होगा कि आपके ऑफिस के काम और दूसरी जरूरी चीजों की वजह से आप डॉक्टर के साथ अपोइंटमेंट को मिस न कर दें। आपका यह भी जानना जरूरी है कि आप दोनों को किस प्रोसेस के लिए एक साथ होना जरूरी है ताकि आप दोनों वहाँ पर मौजूद हों।
क्या आपको फ़्रोजन एंब्रियो ट्रांसफर करवाने की जरूरत पड़ेगी?
डॉक्टर आमतौर पर आपको एंब्रियो को फ्रीज़ करवाने की सलाह दे देते हैं ताकि अगर आपकी पहली साइकिल में प्रेग्नेंसी नहीं होती तो बाद की साइकिल में इनकी जरूरत पड़ सकती है।
इससे यह पक्का हो जाता है कि आपके पास ऐसे एंब्रियो हैं जिन्हें इंप्लांट किया जा सकता है।। ऐसे में आपको दोबारा से एग और ओवम को लेने की जरूरत नहीं पड़ेगी और फर्टिलाइज़ेशन प्रोसीज़र से नहीं गुजरना होगा। एंब्रियो ट्रांसफर सक्सेस रेट इस बात से भी बदल सकता है कि आप फ्रेश एंब्रियो ट्रांसफर कर रहे हैं या फ़्रोजन। क्लीनिक इस बात का पूरा ध्यान रखते हैं कि फ़्रोजन एंब्रियो आपस में मिल न जाएँ और यही चीज है जिससे अधिकतर लोग डरते हैं। इन पर अच्छे से लेबल लगाए जाते हैं और काफी सावधानी बरती जाती है ताकि कोई गलती न हो जाए। सेंपल को भी बहुत ध्यान से ट्रैक किया जाता है ताकि कोई कन्फ़्यूज़न न हो। जेनेटिक टेस्टिंग भी की जाती है ताकि यह पक्का किया जा सके कि एंब्रियो पेरेंट्स का ही हैं।
एक अच्छा क्लीनिक कभी भी इस तरह के सवालों के जवाब देने से मना नहीं करेगा। आपको यह सवाल भी जरूर पूछना चाहिए ताकि आपके सारे डाउट खत्म हो जाएँ और आप क्लीनिक पर भरोसा भी कर पाएँ।
क्या आईवीएफ क्लीनिक की खुद की लैब है?
इस सवाल का जवाब लेना बहुत जरूरी हो जाता है क्योंकि जिस क्लीनिक के पास अपनी खुद की लैब होती है उसकी रिपोर्ट पर भरोसा किया जा सकता है और उनका सक्सेस रेट भी अच्छा होता है। क्लीनिक के पास एडवांस इक्विपमेंट और एक्सपीरियंस्ड एंब्रियोलोजिस्ट होने चाहिए ताकि आपके आईवीएफ का सक्सेस रेट अच्छा रहे।
क्या क्लीनिक आईवीएफ को फाइनेंस करने में आपकी मदद करेगा?
आईवीएफ ���हंगा है लेकिन इसका मतलब यह नहीं है कि आप इसे चुन नहीं सकते। ऐसे कई क्लीनिक हैं जो आईवीएफ को बहुत ही कम ब्याज के साथ ईएमआई पर करवाने की फैसिलिटी देते हैं। इससे आपको एक साथ बहुत ज्यादा पैसा नहीं देना पड़ेगा और आप हर महीने कुछ पैसे देकर अपना आईवीएफ ट्रीटमेंट का खर्च मैनेज कर सकते हैं। आईवीएफ जंक्शन आपके ट्रीटमेंट को फाइनेंस करने में मदद करता है। कोस्ट कैलकुलेटर से आईवीएफ ट्रीटमेंट की कोस्ट का पता करें और ईएमआई कैलकुलेटर से पता करें कि आपको हर महीने कितने पैसे देने पड़ेंगे। इससे आपको अपने खर्च होने वाले पैसों की पूरी जानकारी रहेगी।
इसमें कोई शक नहीं कि आईवीएफ के बारे में आपके कई सवाल होंगे जिनका जवाब आप अपने डॉक्टर से जानना चाहेंगे। इन सवालों के जवाब मिलने पर आप मेंटली, फिज़िकली, फाइनेंशियली आईवीएफ के लिए तैयार हो पाएंगे। आईवीएफ जंक्शन कुछ भी छुपाता नहीं है और केवल उन्हीं क्लीनिक से जुड़ता है जिनके क्वालिटी कंट्रोल काफी कड़े हैं। हम सिर्फ आपके माँ-बाप बनने का सपना पूरा करने में आपकी मदद करना चाहते हैं। हम आपकी सभी जरूरतों का ध्यान रखते हैं ताकि आपको किसी भी तरह की कोई दिक्कत नहीं हो। अगर आप अभी भी कोई सवाल पूछना चाहते हैं तो आईवीएफ जंक्शन सपोर्ट फोरम पर हमसे संपर्क करें। हम इस बात का ध्यान रखते हैं कि हमारे सभी पेशंट को उनके सारे सवालों के सही जवाब मिलें ताकि वो एक अच्छा डिसीज़न ले सकें। इसके अलावा हम इस बात का भी पूरा ख्याल रखेंगे कि आपको होने वाले खर्च के बारे में पूरी जानकारी हो ताकि कोई भी हिडन कोस्ट आपके बजट के लिए परेशानी न पैदा कर सके।
Source: https://ivfjunction.com/blog/questions-to-ask-before-ivf-in-hindi/
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जानिए 2021 में पेपरलैस बजट के अनुसार क्या हुआ सस्ता और क्या हुआ महंगा
वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण संसद में देश का आम बजट पेश कर दिया है इस बजट को वित्त मंत्री ने ऐतिहासिक बताया है और कहा कि ये बजट ऐसा होगा, जो पहले कभी पेश नहीं हुआ होगा. इस बार वित्त मंत्री ने मेड इन इंडिया टैबलेट के जरिए डिजिटल.........Read More
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2021-22 के बजट में क्या सस्ता और क्या महंगा हुआ,जाने सबकुछ
2021-22 के बजट में क्या सस्ता और क्या महंगा हुआ,जाने सबकुछ
2021-22 के बजट में आम लोगों के लिए कुछ भी खास नहीं है। इनकम टैक्स या बचत के नियमों में कोई बदलाव नहीं किया गया है। किसान आंदोलन को देखते हुए खेती के लिए बड़ी घोषणाओं की उम्मीद थी, लेकिन वैसा कुछ भी नहीं हुआ। बजट पर राजनीति का असर दिखता है। इस साल असम, पश्चिम बंगाल, तमिलनाडु और केरल में चुनाव होने हैं, उनके लिए अलग घोषणाएं की गई हैं। चुनावी राज्य पुद्दुचेरी के लिए बजट में कुछ भी नहीं है। आइए 2021…
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रिवरफ्रंट घोटाला: लखनऊ के कई ठेकेदारों पर CBI की नजर, जल्द कसेगा शिकंजा Divya Sandesh
#Divyasandesh
रिवरफ्रंट घोटाला: लखनऊ के कई ठेकेदारों पर CBI की नजर, जल्द कसेगा शिकंजा
लखनऊ
उत्तर प्रदेश में समाजवादी पार्टी की सरकार में हुए लखनऊ के चर्चित गोमती रिवर फ्रंट घोटाले से जुड़े सभी लोग सीबीआई की नजर में हैं। लखनऊ के कई ठेकेदारों के साथ ही फ्रेंड इलेक्ट्रॉनिक भी जांच में फस चुकी है। जानकारी के मुताबिक नाका हिंडोला के रहने वाले ऋषभ ठाकुर ने रिवरफ्रंट में भ्रष्टाचार के जरिए बेशुमार दौलत कमाई है। यही कारण है कि ऋषभ पर भी सीबीआई शिकंजा कस सकती है।
सीबीआई जांच के मुताबिक ऋषभ पर करोड़ों रुपए का गबन करने की बात भी सामने आई है। ऋषभ फिलिप्स समेत कई कंपनियों का डीलर भी है। आशंका है कि जल्द ही केंद्रीय अन्वेषण ब्यूरो ऋषभ के ठिकानों पर छापेमारी कर सकती है। बीती 5 जुलाई को सीबीआई ने लखनऊ समेत कई जगहों पर छापेमारी की थी। सीबीआई लखनऊ की ऐंटी करप्शन विंग ताबड़तोड़ छापेमारी कर रही है। लखनऊ, नोयडा, गाज़ियाबाद, बुलंदशहर, रायबरेली, सीतापुर, इटावा, आगरा समेत कई जगहों पर छापेमारी की थी।
वहीं बीती दो जुलाई को रिवर फ्रंट घोटाले मामले में 190 लोगों के खिलाफ एफआईआर दर्ज कर चुकी है। उत्तर प्रदेश के अलावा राजस्थान और पश्चिम बंगाल में करीब 40 जगहों पर सीबीआई ने एक साथ छापेमारी की है।
क्या है
रिवर फ्रंट घोटाला एसपी सरकार के कार्यकाल में हुआ था। लखनऊ में गोमती रिवर फ्रंट के लिए एसपी सरकार ने 1513 करोड़ मंजूर किए थे। 1437 करोड़ रुपये जारी होने के बाद भी मात्र 60 फीसदी काम ही हुआ। रिवर फ्रंट का काम करने वाली संस्थाओं ने 95 फीसदी बजट खर्च करके भी पूरा काम नहीं किया था।
इंजीनियरों ने किया भ्रष्टाचार
गोमती रिवर फ्रंट के निर्माण कार्य से जुड़े इंजीनियरों पर कई गंभीर आरोप हैं। इंजीनियरों पर दागी कंपनियों को काम देने, विदेशों से महंगा सामान खरीदने, चैनलाइजेशन के कार्य में घोटाला करने, नेताओं और अधिकारियों के विदेश दौरे में फिजूलखर्ची करने सहित वित्तीय लेन-देन में घोटाला करने और नक्शे के अनुसार कार्य नहीं कराने का आरोप है।
इनके यहां हुई थी छापेमारी
शुभ मंगल यादव सुपरिटेंडेंट इंजीनियर इरीगेशन डिपार्टमेंट रुचि खंड वन शारदा नगर लखनऊ, रूप सिंह यादव एग्जीक्यूटिव इंजीनियर 505 शिवालिक अपार्टमेंट कौशांबी गाजियाबाद, रूप सिंह यादव एग्जीक्यूटिव इंजीनियर प्लॉट नंबर 409 एनआरआई सिटी ग्रेटर नोएडा गौतम बुध नगर, सिद्ध नारायण शर्मा चीफ इंजीनियर ए 1102 सन लखनऊ, अकील रहमान जूनियर इंजीनियर बृज अपार्टमेंट वैशाली सेक्टर 5 गाजियाबाद, लखनऊ हाउस नंबर वन ऑब्लिक 130 विपुल खंड गोमती नगर, ओम वर्मा चीफ इंजीनियर 11/426 सेक्टर 11 विकास नगर लखनऊ, काजिम अली चीफ इंजीनियर फ्लैट नंबर 509 नियर एफिल टावर अलीगढ़, जीवन राम यादव हाउस नंबर 11/90 इंदिरा नगर लखनऊ, सुरेंद्र कुमार पाल 137 साउथ सिटी रायबरेली रोड, कमलेश्वर सिंह न्यू विकास कॉलोनी सेक्टर 7 विकास नगर लखनऊ, मोहम्मद आसिफ खान जी 201 साल अपार्टमेंट महानगर लखनऊ, मोहन गुप्ता जी 17 इंडस्ट्रियल एरिया भिवाड़ी अलवर राजस्थान, अनुज कुमार सिंह 636 नियर जलालपुर क्रॉसिंग राजाजीपुरम लखनऊ, सत्येंद्र त्यागी 572 सेक्टर 29 नोएडा गौतम बुध नगर, विक्रम अग्रवाल छोटी नहरिया देवा रोड चिनहट, लखनऊ जीवन राम यादव हाउस नंबर 11/90 इंदिरा नगर लखनऊ, सुरेंद्र कुमार पाल 137 साउथ सिटी रायबरेली रोड सीतापुर, कमलेश्वर सिंह न्यू विकास कॉलोनी सेक्टर 7 विकास नगर लखनऊ, मोहम्मद आसिफ खान जी 201 सेल अपार्टमेंट महानगर लखनऊ।
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बजट 2021: किसानों , वैक्सीन और Election पर फोकस, 75+ के वरिष्ठों को राहत! जानें क्या सस्ता और महंगा All updates here
बजट 2021: किसानों , वैक्सीन और Election पर फोकस, 75+ के वरिष्ठों को राहत! जानें क्या सस्ता और महंगा All updates here
ZamanaTV: आज का बजट आपने देख ही लिया होगा, वित्तमंत्री निर्मला सीतारमण आज आम बजट 2021 पेश कर रही हैं. ब्रीफकेस और बहीखाता के बजाए वह टैबलेट से बजट पेश कर रही हैं. कोरोनाकाल के बाद ये पहला बजट है, जिसमें स्वास्थ्य और कोरोना वैक्सीन को लेकर सरकार ने प्रमुखता से ऐलान किया. वित्तमंत्री ने कहा कि इस बार का बजट डिजिटल है. जबकि जीडीपी लगातार दो बार माइनस में हो गई है, लेकिन ग्लोबल इकॉनोमी ही सुस्त है.…
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बजट 2021: जानें इस बार क्या हुआ सस्ता और क्या महंगा
चैतन्य भारत न्यूज
वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने सोमवार को आम बजट 2021-22 पेश कर दिया है। आइए जानते हैं इस बार क्या महंगा और क्या सस्ता हुआ है।
ये चीजे हुई महंगी
शराब पीना होगा महंगा
सरकार ने घोषणा की है कि नया एग्री इन्फ्रा डेवलपमेंट सेस कल से ही लागू हो जाएगा। इस हिसाब से कल से शराब पीना भी महंगा होगा, क्योंकि बजट में एल्कोहॉलिक बेवरेज पर 100 प्रतिशत एग्री इन्फ्रा सेस लगाया है।
पेट्रोल-डीजल भी महंगे
बजट में पेट्रोल पर 2.5 रुपये प्रति लीटर और डीजल पर 4 रुपये प्रति लीटर के हिसाब से एग्री इन्फ्रा सेस लगाया गया है। ऐसे में इनकी कीमत कल से ही बढ़ने की संभावना है।
खाने के तेल पर सेस, पर महंगाई का असर नहीं
सरकार ने कच्चे पाम तेल पर 17.5% एग्री इन्फ्रा सेस, कच्चे स���याबीन और सूरजमुखी तेल पर 20% का सेस लगाया है। लेकिन ग्राहकों पर इससे कीमतों का अतिरिक्त भार ना पड़े इसके लिए इन पर बेसिक कस्टम ड्यूटी (बीसीडी) में कटौती की गई है।
सेब, खाद, चमड़ा भी महंगा
सरकार ने चमड़ा पर सीमाशुल्क को 10% कर दिया है। यह पहले शून्य था। वहीं सेब पर 35% और खाद पर 5% का एग्री इन्फ्रा सेस लगाया है।
मोबाइल, रेफ्रिजरेटर, चार्जर भी महंगे
बजट में मोबाइल से जुड़े विभिन्न कलपुर्जों पर सीमाशुल्क को शून्य से बढ़ाकर 2.5% किया गया है। वहीं प्रिंटेड सर्किट बोर्ड, चार्जर निर्माण के उपकरण, लीथियम आयन बैटरी, रेफ्रिजरेटर, एयर कंडीशन के कंप्रेसर, एलईडी बल्ब, सोलर इल्वर्टर, सोलर लालटेन पर भी सीमाशुल्क में बढ़ोत्तरी हुई है।
सूती कपड़े महंगे
बजट प्रावधान लागू होने के बाद आपका कपड़े खरीदने का शौक महंगा हो सकता है। सरकार ने कपास पर सीमाशुल्क को शून्य से बढ़ाकर 5% और कच्चे रेशम पर 10% से 15% कर दिया है। हालांकि नायलॉन के धागे पर उत्पाद शुल्क 7.5% से घटकर 5% रह गया है।
ये चीजे हुई सस्ती
अप्रैल से सस्ता हो सकता है सोना-चांदी
बजट में सोने और चांदी पर उत्पाद शुल्क दरों में कटौती की गई है। इसे 12.5% से घटाकर 7.5% कर दिया गया है। वहीं सोने-चांदी के बिस्कुटों पर भी सीमाशुल्क घटाया गया है। ऐसे में सोने चांदी के सस्ते होने की संभावना है। हालांकि सरकार ने इसी के साथ सोने और चांदी पर 2.5 प्रतिशत का एग्री इन्फ्रा सेस लगाया गया है। इससे तत्काल आधार पर सोने-चांदी की कीमतें बढ़ने की उम्मीद है। इसी के साथ रत्न और नग इत्यादि पर भी सीमाशुल्क को बढ़ाकर 15% किया गया है।
ऑटो पार्ट्स महंगे, सस्ते हो सकते हैं वाहन
सरकार ने बजट में चुनिंदा ऑटो पार्ट्स पर कस्टम ड्यूटी 7.5% और 10% से बढ़ाकर 15 प्रतिशत कर दी है। वहीं नट-बोल्ट्स पर भी सीमाशुल्क को 10% से बढ़ाकर 15% कर दिया गया है। इससे वाहनों के महंगे होने की संभावना कम ही है। इसकी वजह सरकार ने स्टील सेक्टर के लिए कस्टम ड्यूटी को घटाकर 7.5 प्रतिशत कर दिया है। साथ ही वाहन स्क्रैप पॉलिसी भी घोषित की है जिससे वाहनों की कीमत घट सकती है।
‘आत्मनिर्भर भारत’ के लिए बढ़ा सीमाशुल्क
सरकार ने आम बजट 2021-22 को आत्मनिर्भर भारत पर केंद्रित रखा है। इसलिए विभिन्न वस्तुओं पर सीमाशुल्क दरों में परिवर्तन किया गया है। इससे घरेलू उद्योग को बढ़ावा मिलने और आयात पर निर्भरता कम करने में मदद मिलेगी।
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