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#यग
hindie24bollywood · 2 years
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मधुमेह का इलाज योग से
मधुमेह का इलाज योग से
मधुमेह प्रभावित व्यक्ति के लिए योग: आज के समय में मधुमेह की बीमारी बहुत तेजी से फैल रही है। ये एक ऐसी बीमारी है जिसका कोई परमानेंट इलाज नहीं है बस आपको अपनी डाइट सही रखनी है। आज के समय में बच्चे हों या बड़े हर कोई डायबिटीज का शिकार होता जा रहा है. डायबिटीज के मरीज अगर अपने आहार में जरा सी भी गलती करते हैं तो उनकी यह समस्या गंभीर रूप ले लेती है। मधुमेह को नियंत्रित करने के लिए रक्त शर्करा को…
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sabkuchgyan · 2 years
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गंभीर बीमारी से जूझ रही युवती से मिले सीएम योगी, दी चॉकलेट और कही ये बात
गंभीर बीमारी से जूझ रही युवती से मिले सीएम योगी, दी चॉकलेट और कही ये बात
उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने गंभीर बीमारी से जूझ रही 13 साल की बच्ची के इलाज के लिए हर संभव मदद का आश्वासन दिया है. सीएम के इस आश्वासन के बाद पीड़िता के परिवार को उम्मीद है कि वह आने वाले समय में सामान्य जीवन जी सकेगी. आपको बता दें कि लड़की का नाम सारा फातिमा है और वह यूपी के देवरिया की रहने वाली है. वह बचपन से ही स्पाइनल मस्कुलर एट्रोफी नामक गंभीर बीमारी से पीड़ित हैं। इस बीमारी…
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3121972 · 5 months
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जो कथा वाचक आपकों बोलते है..धन कमाकर क्या करोगे सब मोह माया है!आईए जानते है उनकी कथा की फीस और खर्च !
1️⃣ साध्वी चित्र लेखा 2 लाख
2️⃣ धीरेंद्र शास्त्री 3 से 5 लाख
3️⃣ देवकीनंदन ठाकुर 10 से 12 लाख
4️⃣ पंडित मिश्रा 5 से 10 लाख
5️⃣ अनिरुद्राचार्य 7 से 10 लाख
6️⃣ जया किशोरी 9 लाख
7️⃣ मुरारी बापू 15_30 लाख।नोट:सभी बाबा के पास सरकारी सिक्योरिटी और करोड़ो की संपति है जो हमारे और आपके पैसे से ही बनाई गई है।
और अब बात करते हैं संत रामपाल जी महाराज जी की फीस.......
संत रामपाल जी महाराज जी की फीस है सिर्फ 👉मर्यादा ...🙏
और आश्रम के अंदर जो भी भक्त भाव वालो लोग दान करते हैं साल मे 5 से 6 बार शुद्ध देशी घी का भोजन पूरे विश्व को करा दिया जाता है उदाहरण के तौर पर अयोध्या राम मंदिर नजारा देखा ही होगा .....
हमांरे गुरु जी किसी का एक रुपया नहीं रखते सब दान पुन सनातन धर्म शास्त्र परमाणित साधना की विधि अनुसार धर्म यग मे लगवा देते हैं जो मनुष को पूर्ण लाभ देती है
और हमारे गुरु जी के पास 2 जोड़ी चप्पल 2 जोड़ी कुर्ते और मौसम के हिसाब से जर्किन होती है और उनकी पहचान माथे पे लाल चंदन टिके या साधु जैसी वेशभूषा , लम्बी गाड़ी से नहीं बल्की उनके तत्वज्ञान से होती है .....
जैसे किसी जाट से पूछो पृथ्वी का केंद्र बिंदु कहा है तो जाट अपना लठ उठाकर जमीन में गाड़ कर कहता है के यहाँ है यकीन नहीं आता देख ले नाप के......
ठीक इसी तरह से तत्वदर्शी संत रामपाल जी महाराज सनातन धर्म शास्त्र तत्वज्ञान रूपी लठ गाडकर कहते हैं सभी दुनिया को भ्रमित करने वाले पाखंडियो से के परमात्मा को पाने की विधि ये है अगर किसी को कोई शंका हो तो आओ मैदान में ...लेकिन कोई पाखंडी नहीं चस्कता
अब फैसला आपके हाथ में....
#SaintRampalJi #everyonefollowers #santrampalji #SantRampalJiMaharaj #भगवान #everyone #followers #following #friends #highlights
@highlight
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pradeepdasblog · 8 months
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( #Muktibodh_part185 के आगे पढिए.....)
📖📖📖
#MuktiBodh_Part186
हम पढ़ रहे है पुस्तक "मुक्तिबोध"
पेज नंबर 355-356
पारख के अंग की वाणी नं. 1063-1096 का सरलार्थ :- परमेश्वर कबीर जी ने कहा कि मैंने ही गुप्त रूप में दस सिर वाले रावण को मारा। हम ही ज्ञानी हैं। चतुर भी हम ही हैं। चोर भी हम हैं क्योंकि काल के जाल से निकालने वाला स्वयं सतपुरूष होता है। अपने को छुपाकर चोरी-छुपे सच्चा ज्ञान बताता है। यह रंग रास यानि आनंददायक वस्तुएँ भी मैंने बनाई हैं। सब आत्माओं की उत्पत्ति मैंने की है जिससे काल ब्रह्म ने भिन्न-भिन्न योनियां (जीव) बनाई हैं। जब-जब भक्तों पर आपत्ति आती है, मैं ही सहायता करता हूँ। व्रतासुर ने जब वेद चुराए थे तो मैंने ही बरहा रूप धरकर व्रतासुर को मारकर वेदों की रक्षा की थी।
हिरण्यकशिपु को मैंने ही नरसिंह रूप धारण करके उदर फाड़कर मारा था। मैंने ही बली राजा की यज्ञ में बावन रूप बनाकर तीन कदम (डंग) स्थान माँगा था। सुरपति के राज की रक्षा की थी। महिमा विष्णु की बनाई थी। इन्द्र ने विष्णु को पुकारा। विष्णु ने मुझे पुकारा।
तब मैं गया था। मैं जन्मता-मरता नहीं हूँ। इसलिए चार प्रकार से जो अंतिम संस्कार किया जाता है, वह मेरा नहीं होता। हम किसी को भ्रमित नहीं करते। काल का रूप मन सबको भ्रमित करता है। करोड़ों शंकर मरकर समूल (जड़ा मूल से) चले गए। ब्रह्मा, विष्णु की गिनती नहीं कि कितने मरकर जा चुके हैं। मैं वह परमेश्वर
हूँ जिसका गुणगान वेद तथा कतेब (कुरान व बाईबल) करते हैं। ब्रह्मा, विष्णु तथा शंकर, सनकादिक भी जिसे प्राप्त नहीं कर सके, वे प्रयत्न करके थक चुके हैं। अल्फ रूप यानि मीनी सतलोक भी हमारा अंग (भाग) है। उसको भी ये प्राप्त नहीं कर सके जहाँ पर अनंत करोड़ त्रिवेणी तथा गंगा बह रही हैं। हमारे लोक में स्वर्ग-नरक नहीं, मृत्यु नहीं होती। कोई बंधन
नहीं है। सब स्वतंत्रा हैं। सत्य शब्द उस स्थान को प्राप्त करवाने का मंत्र है। केवल हमारे वचन (शब्द) से उत्पन्न ऊपर के लोक तथा उनमें रहने वाले भक्त/भक्तमती (हंस, हंसनी) अमर रहेंगे, और सब ब्रह्माण्ड एक दिन नष्ट हो जाएँगे। कच्छ, मच्छ, कूरंभ, धौल, धरती सब नष्ट हो जाएँगे। स्वर्ग, पाताल सब नष्ट हो जाएँगे। इन्द्र, कुबेर, वरूण, धर्मराय, ब्रह्मा, विष्णु, तथा शिव भी मर जाएँगे। आदि माया (दुर्गा) काल ब्रह्म (ज्योति निरंजन) भी मरेंगे।
सब संसार मरेगा। हम नहीं मरेंगे। जो हमारी शरण में हैं, वो नहीं मरेंगे। सतलोक में मौज करेंगे।
◆ पारख के अंग की वाणी नं. 1097-1124 (धर्मदास जी ने कहा) :-
धर्मदास बोलत है बानी, कौंन रूप पद कहां निशानी।
तुम जो अकथ कहांनी भाषी, तुमरै आगै तुमही साषी।।1097।।
योह अचरज है लीला स्वामी, मैं नहीं जानत हूं निजधामी।
कौन रूप पदका प्रवानं, दया करौं मुझ दीजै दानं।।1098।।
हम तो तीरथ ब्रत करांही, अगम धामकी कछु सुध नांही।
गर्भ जोनि में रहैं भुलाई, पद प्रतीति नहीं मोहि आई।।1099।।
हम तुम दोय या एकम एका, सुन जिंदा मोहि कहौ बिबेका।
गुण इन्द्री और प्राण समूलं, इनका कहो कहां अस्थूलं।।1100।।
तुम जो बटकबीज कहिदीन्या, तुमरा ज्ञान हमौं नहीं चीन्या।
हमकौं चीन्ह न परही जिंदा, कैसे मिटै प्राण दुख दुन्दा।।1101।।
त्रिदेवनकी की महिमा अपारं, ये हैं सर्व लोक करतारं।
सुन जिन्दा क्यूं बात बनाव, झूठी कहानी मोहे सुनावैं।।1102।।
मैं ना मानुं, बात तुम्हारी। मैं सेवत हूँ, विष्णु नाथ मुरारी।
शंकर-गौरी गणेश पुजाऊँ, इनकी सेवा सदा चित लाऊँ।।1103।।
तहां वहां लीन भये निरबांनी, मगन रूप साहिब सैलानी।
तहां वहां रोवत है धर्मनीनागर, कहां गये तुम सुख के सागर।।1104।।
अधिक बियोग हुआ हम सेती, जैसैं निर्धन की लुटी गई खेती।
कलप करै और मन में रोवै, दशौं दिशा कौं वह मग जोवै।।1105।।
हम जानैं तुम देह स्वरूपा, हमरी बुद्धि अंध गृह कूपा।
हमतो मानुषरूप तुम जान्या, सुन सतगुरू कहां कीन पियाना।।1106।।
बेग मिलौ करि हूं अपघाता, मैं नाहीं जीवूं सुनौं विधाता।
अगम ज्ञान कुछि मोहि सुनाया, मैं जीवूं नहीं अविगत राया।।1107।।
तुम सतगुरू अबिगत अधिकारी, मैं नहीं जानी लीला थारी।
तुम अविगत अविनाशी सांई, फिरि मोकूं कहां मिलौ गोसांई।।1108।।
दोहा - कमर कसी धर्मदास कूं, पूरब पंथ पयान।
गरीब दास रोवत चले, बांदौगढ अस्थान।।1109।।
जा पौंहचैं काशी अस्थाना, मौमन के घरि बुनि है ताना।
षटमास बीतै जदि भाई, तहां धर्मदास यग उपराई।।1110।।
बांदौगढ में यग आरंभा, तहां षटदर्शन अधि अचंभा।
यज्ञमांहि जगदीश न आये, धर्मदास ढूंढत कलपाये।।1111।।
अनंत भेष टुकड़े के आहारी, भेटै नहीं जिंद व्यौपारी।
तहां धर्मदास कलप जब कीनं, पलक बीच बैठै प्रबीनं।।1112।।
औही जिंदे का बदन शरीरं, बैठे कदंब वृक्ष के तीरं।
चरण लिये चिंतामणि पाई, अधिक हेत सें कंठ लगाई।।1113।।
◆ कबीर वचन :-
अजब कुलाहल बोलत बानी, तुम धर्मदास करूं प्रवानी।
तुम आए बांदौगढ स्थाना, तुम कारण हम कीन पयाना।।1114।।
अललपंख ज्यूं मारग मोरा, तामधि सुरति निरति का डोरा।
ऐसा अगम ज्ञान गोहराऊँ, धर्मदास पद पदहिं समाऊं।।1115।।
गुप्त कलप तुम राखौं मोरी, देऊँ मक्रतार की डोरी।
पद प्रवानि करूं धर्मदासा, गुप्त नाम हृदय प्रकाशा।।1116।।
हम काशी में रहैं हमेशं, मोमिन घर ताना प्रवेशं।
भक्ति भाव लोकन कौ देही, जो कोई हमारी सिष बुद्धि लेही।।1117।।
ऐसी कलप करौ गुरूराया, जैसे अंधरें लोचन पाया।
ज्यूं भूखैकौ भोजन भासै, क्षुध्या मिटि है कलप तिरासै।।1118।।
जैसै जल पीवत तिस जाई, प्राण सुखी होय तृप्ती पाई।
जैसे निर्धनकूं धन पावैं, ऐसैं सतगुरू कलप मिटावैं।।1119।।
कैसैं पिण्ड प्राण निसतरहीं, यह गुण ख्याल परख नहीं परहीं।
तुम जो कहौ हम पद प्रवानी, हम यह कैसैं जानैं सहनानी।।1120।।
दोहा - धर्म कहैं सुन जिंद तुम, हम पाये दीदार।
गरीबदास नहीं कसर कुछ, उधरे मोक्षद्वार।।1121।।
◆ कबीर वचन :-
अजर करूं अनभै प्रकाशा, खोलि कपाट दिये धर्मदासा।
पद बिहंग निज मूल लखाया, सर्व लोक एकै दरशाया।।1122।।
खुलै कपाट घाटघट माहीं, शंखकिरण ज्योति झिलकांहीं।
सकल सृष्टि में देख्या जिंदा, जामन मरण कटे सब फंदा।।1123।।
दोहा - जिंद कहैं धर्मदास सैं, अभय दान तुझ दीन।
गरीबदास नहीं जूंनि जग, हुय अभय पद लीन।।1124।।
क्रमशः_______________
••••••••••••••••••••••••••••••••••••••••••••••••••••••••
आध्यात्मिक जानकारी के लिए आप संत रामपाल जी महाराज जी के मंगलमय प्रवचन सुनिए। संत रामपाल जी महाराज YOUTUBE चैनल पर प्रतिदिन 7:30-8.30 बजे। संत रामपाल जी महाराज जी इस विश्व में एकमात्र पूर्ण संत हैं। आप सभी से विनम्र निवेदन है अविलंब संत रामपाल जी महाराज जी से नि:शुल्क नाम दीक्षा लें और अपना जीवन सफल बनाएं।
https://online.jagatgururampalji.org/naam-diksha-inquiry
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kisturdas · 8 months
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( #Muktibodh_part185 के आगे पढिए.....)
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#MuktiBodh_Part186
हम पढ़ रहे है पुस्तक "मुक्तिबोध"
पेज नंबर 355-356
पारख के अंग की वाणी नं. 1063-1096 का सरलार्थ :- परमेश्वर कबीर जी ने कहा कि मैंने ही गुप्त रूप में दस सिर वाले रावण को मारा। हम ही ज्ञानी हैं। चतुर भी हम ही हैं। चोर भी हम हैं क्योंकि काल के जाल से निकालने वाला स्वयं सतपुरूष होता है। अपने को छुपाकर चोरी-छुपे सच्चा ज्ञान बताता है। यह रंग रास यानि आनंददायक वस्तुएँ भी मैंने बनाई हैं। सब आत्माओं की उत्पत्ति मैंने की है जिससे काल ब्रह्म ने भिन्न-भिन्न योनियां (जीव) बनाई हैं। जब-जब भक्तों पर आपत्ति आती है, मैं ही सहायता करता हूँ। व्रतासुर ने जब वेद चुराए थे तो मैंने ही बरहा रूप धरकर व्रतासुर को मारकर वेदों की रक्षा की थी।
हिरण्यकशिपु को मैंने ही नरसिंह रूप धारण करके उदर फाड़कर मारा था। मैंने ही बली राजा की यज्ञ में बावन रूप बनाकर तीन कदम (डंग) स्थान माँगा था। सुरपति के राज की रक्षा की थी। महिमा विष्णु की बनाई थी। इन्द्र ने विष्णु को पुकारा। विष्णु ने मुझे पुकारा।
तब मैं गया था। मैं जन्मता-मरता नहीं हूँ। इसलिए चार प्रकार से जो अंतिम संस्कार किया जाता है, वह मेरा नहीं होता। हम किसी को भ्रमित नहीं करते। काल का रूप मन सबको भ्रमित करता है। करोड़ों शंकर मरकर समूल (जड़ा मूल से) चले गए। ब्रह्मा, विष्णु की गिनती नहीं कि कितने मरकर जा चुके हैं। मैं वह परमेश्वर
हूँ जिसका गुणगान वेद तथा कतेब (कुरान व बाईबल) करते हैं। ब्रह्मा, विष्णु तथा शंकर, सनकादिक भी जिसे प्राप्त नहीं कर सके, वे प्रयत्न करके थक चुके हैं। अल्फ रूप यानि मीनी सतलोक भी हमारा अंग (भाग) है। उसको भी ये प्राप्त नहीं कर सके जहाँ पर अनंत करोड़ त्रिवेणी तथा गंगा बह रही हैं। हमारे लोक में स्वर्ग-नरक नहीं, मृत्यु नहीं होती। कोई बंधन
नहीं है। सब स्वतंत्रा हैं। सत्य शब्द उस स्थान को प्राप्त करवाने का मंत्र है। केवल हमारे वचन (शब्द) से उत्पन्न ऊपर के लोक तथा उनमें रहने वाले भक्त/भक्तमती (हंस, हंसनी) अमर रहेंगे, और सब ब्रह्माण्ड एक दिन नष्ट हो जाएँगे। कच्छ, मच्छ, कूरंभ, धौल, धरती सब नष्ट हो जाएँगे। स्वर्ग, पाताल सब नष्ट हो जाएँगे। इन्द्र, कुबेर, वरूण, धर्मराय, ब्रह्मा, विष्णु, तथा शिव भी मर जाएँगे। आदि माया (दुर्गा) काल ब्रह्म (ज्योति निरंजन) भी मरेंगे।
सब संसार मरेगा। हम नहीं मरेंगे। जो हमारी शरण में हैं, वो नहीं मरेंगे। सतलोक में मौज करेंगे।
◆ पारख के अंग की वाणी नं. 1097-1124 (धर्मदास जी ने कहा) :-
धर्मदास बोलत है बानी, कौंन रूप पद कहां निशानी।
तुम जो अकथ कहांनी भाषी, तुमरै आगै तुमही साषी।।1097।।
योह अचरज है लीला स्वामी, मैं नहीं जानत हूं निजधामी।
कौन रूप पदका प्रवानं, दया करौं मुझ दीजै दानं।।1098।।
हम तो तीरथ ब्रत करांही, अगम धामकी कछु सुध नांही।
गर्भ जोनि में रहैं भुलाई, पद प्रतीति नहीं मोहि आई।।1099।।
हम तुम दोय या एकम एका, सुन जिंदा मोहि कहौ बिबेका।
गुण इन्द्री और प्राण समूलं, इनका कहो कहां अस्थूलं।।1100।।
तुम जो बटकबीज कहिदीन्या, तुमरा ज्ञान हमौं नहीं चीन्या।
हमकौं चीन्ह न परही जिंदा, कैसे मिटै प्राण दुख दुन्दा।।1101।।
त्रिदेवनकी की महिमा अपारं, ये हैं सर्व लोक करतारं।
सुन जिन्दा क्यूं बात बनाव, झूठी कहानी मोहे सुनावैं।।1102।।
मैं ना मानुं, बात तुम्हारी। मैं सेवत हूँ, विष्णु नाथ मुरारी।
शंकर-गौरी गणेश पुजाऊँ, इनकी सेवा सदा चित लाऊँ।।1103।।
तहां वहां लीन भये निरबांनी, मगन रूप साहिब सैलानी।
तहां वहां रोवत है धर्मनीनागर, कहां गये तुम सुख के सागर।।1104।।
अधिक बियोग हुआ हम सेती, जैसैं निर्धन की लुटी गई खेती।
कलप करै और मन में रोवै, दशौं दिशा कौं वह मग जोवै।।1105।।
हम जानैं तुम देह स्वरूपा, हमरी बुद्धि अंध गृह कूपा।
हमतो मानुषरूप तुम जान्या, सुन सतगुरू कहां कीन पियाना।।1106।।
बेग मिलौ करि हूं अपघाता, मैं नाहीं जीवूं सुनौं विधाता।
अगम ज्ञान कुछि मोहि सुनाया, मैं जीवूं नहीं अविगत राया।।1107।।
तुम सतगुरू अबिगत अधिकारी, मैं नहीं जानी लीला थारी।
तुम अविगत अविनाशी सांई, फिरि मोकूं कहां मिलौ गोसांई।।1108।।
दोहा - कमर कसी धर्मदास कूं, पूरब पंथ पयान।
गरीब दास रोवत चले, बांदौगढ अस्थान।।1109।।
जा पौंहचैं काशी अस्थाना, मौमन के घरि बुनि है ताना।
षटमास बीतै जदि भाई, तहां धर्मदास यग उपराई।।1110।।
बांदौगढ में यग आरंभा, तहां षटदर्शन अधि अचंभा।
यज्ञमांहि जगदीश न आये, धर्मदास ढूंढत कलपाये।।1111।।
अनंत भेष टुकड़े के आहारी, भेटै नहीं जिंद व्यौपारी।
तहां धर्मदास कलप जब कीनं, पलक बीच बैठै प्रबीनं।।1112।।
औही जिंदे का बदन शरीरं, बैठे कदंब वृक्ष के तीरं।
चरण लिये चिंतामणि पाई, अधिक हेत सें कंठ लगाई।।1113।।
◆ कबीर वचन :-
अजब कुलाहल बोलत बानी, तुम धर्मदास करूं प्रवानी।
तुम आए बांदौगढ स्थाना, तुम कारण हम कीन पयाना।।1114।।
अललपंख ज्यूं मारग मोरा, तामधि सुरति निरति का डोरा।
ऐसा अगम ज्ञान गोहराऊँ, धर्मदास पद पदहिं समाऊं।।1115।।
गुप्त कलप तुम राखौं मोरी, देऊँ मक्रतार की डोरी।
पद प्रवानि करूं धर्मदासा, गुप्त नाम हृदय प्रकाशा।।1116।।
हम काशी में रहैं हमेशं, मोमिन घर ताना प्रवेशं।
भक्ति भाव लोकन कौ देही, जो कोई हमारी सिष बुद्धि लेही।।1117।।
ऐसी कलप करौ गुरूराया, जैसे अंधरें लोचन पाया।
ज्यूं भूखैकौ भोजन भासै, क्षुध्या मिटि है कलप तिरासै।।1118।।
जैसै जल पीवत तिस जाई, प्राण सुखी होय तृप्ती पाई।
जैसे निर्धनकूं धन पावैं, ऐसैं सतगुरू कलप मिटावैं।।1119।।
कैसैं पिण्ड प्राण निसतरहीं, यह गुण ख्याल परख नहीं परहीं।
तुम जो कहौ हम पद प्रवानी, हम यह कैसैं जानैं सहनानी।।1120।।
दोहा - धर्म कहैं सुन जिंद तुम, हम पाये दीदार।
गरीबदास नहीं कसर कुछ, उधरे मोक्षद्वार।।1121।।
◆ कबीर वचन :-
अजर करूं अनभै प्रकाशा, खोलि कपाट दिये धर्मदासा।
पद बिहंग निज मूल लखाया, सर्व लोक एकै दरशाया।।1122।।
खुलै कपाट घाटघट माहीं, शंखकिरण ज्योति झिलकांहीं।
सकल सृष्टि में देख्या जिंदा, जामन मरण कटे सब फंदा।।1123।।
दोहा - जिंद कहैं धर्मदास सैं, अभय दान तुझ दीन।
गरीबदास नहीं जूंनि जग, हुय अभय पद लीन।।1124।।
क्रमशः_______________
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आध्यात्मिक जानकारी के लिए आप संत रामपाल जी महाराज जी के मंगलमय प्रवचन सुनिए। संत रामपाल जी महाराज YOUTUBE चैनल पर प्रतिदिन 7:30-8.30 बजे। संत रामपाल जी महाराज जी इस विश्व में एकमात्र पूर्ण संत हैं। आप सभी से विनम्र निवेदन है अविलंब संत रामपाल जी महाराज जी से नि:शुल्क नाम दीक्षा लें और अपना जीवन सफल बनाएं।
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visheshwarsinghs-blog · 9 months
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#श्रीमद्भगवद्गीता_का_यथार्थ_ज्ञान
गीता अध्याय 4 के श्लोक 31 में गीता ज्ञान दाता बोल रहा है कि यग से बचे हुए अमृत का अनुभव करने वाले योगी जन सनातन परमब्रह्म परमात्मा को प्राप्त होते हैं और योग ना करने वाले मनुष्यों के लिए तो यह मृत्युलोक भी सुखदायक नहीं है।
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neha-dasi · 10 months
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दिव्या धाम यग दिवस संत रामपाल जी महाराज के
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ramprasadkeer · 1 year
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क्या श्राद्ध, पिंडदान आदि क्रियाएं करनी चाहिए? Sant Rampal Ji Satsang | ...
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संत मिलन को चालिए तज माया अभिमान।
जो जो कदम आगे धरे सोही यग समान।।
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dotengine · 1 year
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शिवलिंग के पास हाथ धोने पर हंगामा! घिरे योगी ���रकार के मंत्री
यूपी सरकार में मंत्री सतीश शर्मा का एक वीडियो सामने आया है जिसने बवाल खड़ा कर दिया है. दरअसल मंत्री सतीश शर्मा वीडियो में शिवलिंग के पास होथ धोते दिख रहे हैं. इस वीडियो के जारी होने के बाद विपक्षी नेताओं ने भाजपा व भाजपा नेताओं पर हमला करना शुरू कर दिया है. #शवलग #क #पस #हथ #धन #पर #हगम #घर #यग #सरकर #क #मतर
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bluetreeturtleoaf · 1 year
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#Mahasamagam_By_SantRampalJi
संत मिलन को चालिए तज माया अभिमान।
जो जो कदम आगे धरे सोही यग समान।।
यही मिति २०८० भदौ २०, २१ र २२ गते १० वटा सतलोक आश्रमहरूमा सन्त रामपालजी महाराजको ७३औँ अवतरण दिवस बडो हर्षोल्लासका साथ मनाइँदै छ। यस अवसरमा तीन दिनसम्म आदरणीय सन्त गरीबदासजी महाराजको अमृतवाणीको अखण्ड पाठका साथै शुद्ध देशी घिउबाट बनाइएको निःशुल्क भण्डाराको आयोजना गरिने छ।
आयोजन स्थलहरुः-
सतलोक आश्रम सोजत (राजस्थान),
सतलोक आश्रम खमानो (पंजाब),
सतलोक आश्रम धुरी (पंजाब),
सतलोक आश्रम धनाना (हरियाणा),
सतलोक आश्रम भिवानी (हरियाणा),
सतलोक आश्रम कुरुक्षेत्र (हरियाणा),
सतलोक आश्रम बैतूल (मध्य प्रदेश),
सतलोक आश्रम शामली (उत्तर प्रदेश),
सतलोक आश्रम धनुषा (नेपाल देश)
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mayapurimagazine · 2 years
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Happy Birthday Alia Bhatt: बॉलीवुड की हॉटेस्ट यग स्टार - आलिया भट्ट
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sabkuchgyan · 2 years
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Lata Mangeshkar Chowk: मुख्यमंत्री योगी ने लता मंगेशकर चौक का उद्घाटन किया, पीएम मोदी देंगे वीडियो संदेश
Lata Mangeshkar Chowk: मुख्यमंत्री योगी ने लता मंगेशकर चौक का उद्घाटन किया, पीएम मोदी देंगे वीडियो संदेश
Lata Mangeshkar Chowk: मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने आज बुधवार को लता मंगेशकर चौक का उद्घाटन किया, इस अवसर पर केंद्रीय पर्यटन मंत्री जी किशन रेड्डी सहित कई मंत्री और नेता शामिल हुए. मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने वीणा मेकर राम सुतार से भी मुलाकात की. इसके बाद वह रामकथा पार्क के लिए रवाना हो गए। लॉन्चिंग समारोह में लता मंगेशकर के भतीजे और बहू भी मौजूद थे. Lata Mangeshkar Chowk:  इसके बाद, चौक को…
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rickztalk · 2 years
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कश्मीर में योगी स्टाइल में हिजबुल आतंकी के खिलाफ कार्रवाई, घर पर चला बुलडोजर
कश्मीर में योगी स्टाइल में हिजबुल आतंकी के खिलाफ कार्रवाई, घर पर चला बुलडोजर
न्यूज एजेंसी एएनआई की एक रिपोर्ट के मुताबिक, सूत्रों ने कहा है कि गुलाम नबी खान ऊर्फ आमिर खान हिजबुल मुजाहिद्दीन का टॉप कमांडर है। 90 के दशक में वह सीमा पार कर पाकिस्तान अधिकृत कश्मीर चला गया। #कशमर #म #यग #सटइल #म #हजबल #आतक #क #खलफ #कररवई #घर #पर #चल #बलडजर
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muddit · 2 years
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मुंडका आश्रम दिल्ली में आयोजित दिव्य धर्म यग में पहंचे पूण्य आत्माएं.. Visit:- Sant Rampal Ji Maharaj - youtube channel 🙏 #Divya_Dharma_Yagya_Diwas #bhakti #hawan #bhagavadgita #Bhandara #dharma #langar #KabirIsGod #SantRampalJiMaharaj (at Delhi, India) https://www.instagram.com/p/Ck3ayqODhfs/?igshid=NGJjMDIxMWI=
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manoj1975 · 2 years
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बंदी छोड़ सतगुरु रामपाल जी महाराज जी की दया से 7,8,9 नवंबर -22 को विशाल भंडारे का आयोजन चिड़ियाघर के पास कुरुक्षेत्र आश्रम में किया जा रहा है। आप सभी भक्त आत्माएं भंडारे में सादर आमंत्रित हैं। "संत मिलन को चालिए, तज माया अभिमान जो जो पग आगे धरे सो सो यग समान" https://www.instagram.com/p/Cj644P8yZ_f/?igshid=NGJjMDIxMWI=
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gulshandas123 · 2 years
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#godnightfriday
सदगुरु आएं दया करी ऐसे दीन दयाल
सन्त मिलन को चालीय, तज माया अभिमान। ज्यों ज्यों पग आगे धरै, त्यु त्यु यग समान ।
सतलोक में बिना किये सब सुख-सुविधा उपलब्ध है।
जबकि काल लोक/पृथ्वी लोक में बिना कर्म किये कोई भी वस्तु प्राप्त नहीं होती।l
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