ॐ ह्रीं श्रीं लक्ष्मी नारायणाय नमःयह मंत्र समृद्धि और धन प्रदान करता है ...
1 note
·
View note
शुक्रवार की रात मां लक्ष्मी को ऐसे करें प्रसन्न, इन उपायों को अपनाएंगे तो हमेशा बरसेगी कृपा
चैतन्य भारत न्यूज
शुक्रवार का दिन मां लक्ष्मी का दिन कहा जाता है। इस दिन मां लक्ष्मी की पूजा-अर्चना करने से धन-संबंधी सभी कष्ट दूर हो जाते हैं। साथ ही मां प्रसन्न होकर भक्तों को मनचाहा वरदान देती हैं। यदि आप भी अपने घर में हमेशा धन की वर्षा करवाना चाहते हैं और आर्थिक स्थिति में हमेशा सुधार रखना चाहते हैं तो शुक्रवार के दिन आप ये उपाय जरूर अपनाएं। लेकिन एक बात ध्यान रहे आपको ये उपाय रात 9 बजे से रात 12 बजे के बीच ही करना होगा। इससे सभी मनोकामनां हो पूरी हो जाएगी। एक और बात ध्यान रहे कि जब भी आप ये उपाय कर रहे हो तो आपको बीच में कोई भी रोके-टोके नहीं। आइए जानते हैं कैसे करना है ये उपाय-
पहला उपाय-
रात को घर के पूजा स्थल पर साफ-सफाई कर चौकी पर एक सफेद रंग का कपड़ा बिछा दें। उस पर कलश रखें।
कलश के ऊपर शुद्ध केसर से स्वस्तिक का चिन्ह बनाकर उसमें पानी भर दें।
अब कलश में दूर्वा, चावल और एक का सिक्का दाल दें। फिर एक छोटी प्लेट में चावल भरकर उसे कलश पर रख दें।
अब उसके ऊपर श्रीयंत्र की स्थापना कर दें।
कलश के बाई ओर चार बत्ती वाला एक दीया जलाकर उसकी कुमकुम और चावल से पूजन करें।
पूजन के बाद करीब 15 मिनट तक माता लक्ष्मी का ध्यान करें। इससे आपकी सभी मनोकामना अवश्य पूर्ण होगी।
दूसरा उपाय-
अमावस्या के आप चावल की खीर बना लें।
फिर उस खीर में एक रोटी को बारिक पीसकर मिला लें।
अब खीर को कौओं के खाने के लिए अपने घर की छत पर रख दें।
इस उपाय से हमेशा पितरों का आशीर्वाद आप पर बना रहेगा। साथ ही इसे करने से पितृ दोष से मुक्ति भी मिलती है।
तीसरा उपाय-
यदि किसी जातक की कुंडली में चंद्र अशुभ हो या फिर किसी दुष्ट ग्रह के प्रभाव से अपना पूरा असर नहीं दे पा रहा है। ऐसे लोगों को अपनी मां से एक मुट्ठीभर चावल दान लेना चाहिए। इससे हमेशा के लिए चन्द्रमा की अशुभवता दूर हो जाती है।
चौथा उपाय-
पूर्णिमा या किसी शुभ मुहूर्त वाले दिन चावल को केसर या हल्दी में रंग कर पीला कर लें।
एक बात जरूर ध्यान रखें कि सभी चावल में से कोई भी दाना टूटा हुआ न हो।
पीला रंगने के बाद अब इन चावलों को किसी मंदिर में जाकर भगवान को समर्पित कर दें।
फिर आप भगवान से अपनी मनोकामना पूरी करने की प्रार्थना करें। इससे आपकी समस्याएं जल्दी ही दूर हो जाएंगी।
मां लक्ष्मी को रक्तचन्दन इस मंत्र के साथ समर्पण करें।
रक्तचन्दनसम्मिश्रं पारिजातसमुद्भवम्।
मया दत्तं महालक्ष्मि चन्दनं प्रतिगृह्यताम् ।
ॐ महालक्ष्म्यै नमः रक्तचन्दनं समर्पयामि।
फिर इस मंत्र से लक्ष्मी को पुष्प माला समर्पण कीजिए
माल्यादीनि सुगन्धीनि मालत्यादीनि वै प्रभो ।
ॐ मनसः काममाकूतिं वाचः सत्यमशीमहि ।
ॐ महालक्ष्म्यै नमः । पुष्पमालां समर्पयामि ।
उ���के बाद इस मंत्र से मां लक्ष्मी का आवाहन करें।
सर्वलोकस्य जननीं सर्वसौख्यप्रदायिनीम ।
सर्वदेवमयीमीशां देवीमावाहयाम्यहम्।
ॐ तां म आवह जातवेदो लक्ष्मीमनपगामिनीम् | यस्यां हिरण्यं विन्देयं गामश्वं पुरुषानहम् ।
Read the full article
0 notes
#मांलक्ष्मी उन्हीं घरों में वास करती हैं जहां पर साफ-सफाई होती है। ऐसे में उन्हें झाड़ू बहुत ही प्रिय वस्तु लगती है। झाड़ू और #लक्ष्मी माता का गहरा संबंध होता है। ऐसे में अगर आपको सुबह-सुबह कोई झाडू लगाते हुए दिख जाए तो समझिए आप जल्द अमीर बनने वाले हैं। Call on: 9888720397
0 notes
श्री महालक्ष्मी नमः !! महालक्ष्मी मंत्र स्तुति!! श्री महालक्ष्मी मंत्र #...
#माँलक्ष्मी #मांलक्ष्मी #मालक्ष्मी #माँलक्ष्मीनमोस्तुते #मांलक्ष्मी_की_कृपा #माँलक्ष्मीउपाय #माँलक्ष्मीकीकृपा #माँलक्ष्मीकाआशीर्वाद #माँलक्ष्मीकीजय #माँलक्षमीकादरबार #मांलक्ष्मीकाआशीर्वाद #माँलक्ष्मीगणेश #माँलक्ष्मीघरमेंकैसेआतीहै #मांलक्ष्मीजी #माँलक्ष्मीजी #माँलक्ष्मीधनप्राप्तिमंत्र #माँलक्ष्मीनमोस्तुते❤🙏 #माँलक्ष्मीपूजन #माँलक्षमीमेरेघरआओ❤🙏 #माँलक्ष्मीरिकॉर्डिंगस्टूडियो #माँलक्ष्मीहोंगीप्रसन्न
0 notes
शुक्रवार की रात मां लक्ष्मी को ऐसे करें प्रसन्न, इन उपायों को अपनाएंगे तो हमेशा बरसेगी कृपा
चैतन्य भारत न्यूज
शुक्रवार का दिन मां लक्ष्मी का दिन कहा जाता है। इस दिन मां लक्ष्मी की पूजा-अर्चना करने से धन-संबंधी सभी कष्ट दूर हो जाते हैं। साथ ही मां प्रसन्न होकर भक्तों को मनचाहा वरदान देती हैं। यदि आप भी अपने घर में हमेशा धन की वर्षा करवाना चाहते हैं और आर्थिक स्थिति में हमेशा सुधार रखना चाहते हैं तो शुक्रवार के दिन आप ये उपाय जरूर अपनाएं। लेकिन एक बात ध्यान रहे आपको ये उपाय रात 9 बजे से रात 12 बजे के बीच ही करना होगा। इससे सभी मनोकामनां हो पूरी हो जाएगी। एक और बात ध्यान रहे कि जब भी आप ये उपाय कर रहे हो तो आपको बीच में कोई भी रोके-टोके नहीं। आइए जानते हैं कैसे करना है ये उपाय-
पहला उपाय-
रात को घर के पूजा स्थल पर साफ-सफाई कर चौकी पर एक सफेद रंग का कपड़ा बिछा दें। उस पर कलश रखें।
कलश के ऊपर शुद्ध केसर से स्वस्तिक का चिन्ह बनाकर उसमें पानी भर दें।
अब कलश में दूर्वा, चावल और एक का सिक्का दाल दें। फिर एक छोटी प्लेट में चावल भरकर उसे कलश पर रख दें।
अब उसके ऊपर श्रीयंत्र की स्थापना कर दें।
कलश के बाई ओर चार बत्ती वाला एक दीया जलाकर उसकी कुमकुम और चावल से पूजन करें।
पूजन के बाद करीब 15 मिनट तक माता लक्ष्मी का ध्यान करें। इससे आपकी सभी मनोकामना अवश्य पूर्ण होगी।
दूसरा उपाय-
अमावस्या के आप चावल की खीर बना लें।
फिर उस खीर में एक रोटी को बारिक पीसकर मिला लें।
अब खीर को कौओं के खाने के लिए अपने घर की छत पर रख दें।
इस उपाय से हमेशा पितरों का आशीर्वाद आप पर बना रहेगा। साथ ही इसे करने से पितृ दोष से मुक्ति भी मिलती है।
तीसरा उपाय-
यदि किसी जातक की कुंडली में चंद्र अशुभ हो या फिर किसी दुष्ट ग्रह के प्रभाव से अपना पूरा असर नहीं दे पा रहा है। ऐसे लोगों को अपनी मां से एक मुट्ठीभर चावल दान लेना चाहिए। इससे हमेशा के लिए चन्द्रमा की अशुभवता दूर हो जाती है।
चौथा उपाय-
पूर्णिमा या किसी शुभ मुहूर्त वाले दिन चावल को केसर या हल्दी में रंग कर पीला कर लें।
एक बात जरूर ध्यान रखें कि सभी चावल में से कोई भी दाना टूटा हुआ न हो।
पीला रंगने के बाद अब इन चावलों को किसी मंदिर में जाकर भगवान को समर्पित कर दें।
फिर आप भगवान से अपनी मनोकामना पूरी करने की प्रार्थना करें। इससे आपकी समस्याएं जल्दी ही दूर हो जाएंगी।
मां लक्ष्मी को रक्तचन्दन इस मंत्र के साथ समर्पण करें।
रक्तचन्दनसम्मिश्रं पारिजातसमुद्भवम्।
मया दत्तं महालक्ष्मि चन्दनं प्रतिगृह्यताम् ।
ॐ महालक्ष्म्यै नमः रक्तचन्दनं समर्पयामि।
फिर इस मंत्र से लक्ष्मी को पुष्प माला समर्पण कीजिए
माल्यादीनि सुगन्धीनि मालत्यादीनि वै प्रभो ।
ॐ मनसः काममाकूतिं वाचः सत्यमशीमहि ।
ॐ महालक्ष्म्यै नमः । पुष्पमालां समर्पयामि ।
उसके बाद इस मंत्र से मां लक्ष्मी का आवाहन करें।
सर्वलोकस्य जननीं सर्वसौख्यप्रदायिनीम ।
सर्वदेवमयीमीशां देवीमावाहयाम्यहम्।
ॐ तां म आवह जातवेदो लक्ष्मीमनपगामिनीम् | यस्यां हिरण्यं विन्देयं गामश्वं पुरुषानहम् ।
Read the full article
0 notes
शुक्रवार की रात मां लक्ष्मी को ऐसे करें प्रसन्न, इन उपायों को अपनाएंगे तो हमेशा बरसेगी कृपा
चैतन्य भारत न्यूज
शुक्रवार का दिन मां लक्ष्मी का दिन कहा जाता है। इस दिन मां लक्ष्मी की पूजा-अर्चना करने से धन-संबंधी सभी कष्ट दूर हो जाते हैं। साथ ही मां प्रसन्न होकर भक्तों को मनचाहा वरदान देती हैं। यदि आप भी अपने घर में हमेशा धन की वर्षा करवाना चाहते हैं और आर्थिक स्थिति में हमेशा सुधार रखना चाहते हैं तो शुक्रवार के दिन आप ये उपाय जरूर अपनाएं। लेकिन एक बात ध्यान रहे आपको ये उपाय रात 9 बजे से रात 12 बजे के बीच ही करना होगा। इससे सभी मनोकामनां हो पूरी हो जाएगी। एक और बात ध्यान रहे कि जब भी आप ये उपाय कर रहे हो तो आपको बीच में कोई भी रोके-टोके नहीं। आइए जानते हैं कैसे करना है ये उपाय-
पहला उपाय-
रात को घर के पूजा स्थल पर साफ-सफाई कर चौकी पर एक सफेद रंग का कपड़ा बिछा दें। उस पर कलश रखें।
कलश के ऊपर शुद्ध केसर से स्वस्तिक का चिन्ह बनाकर उसमें पानी भर दें।
अब कलश में दूर्वा, चावल और एक का सिक्का दाल दें। फिर एक छोटी प्लेट में चावल भरकर उसे कलश पर रख दें।
अब उसके ऊपर श्रीयंत्र की स्थापना कर दें।
कलश के बाई ओर चार बत्ती वाला एक दीया जलाकर उसकी कुमकुम और चावल से पूजन करें।
पूजन के बाद करीब 15 मिनट तक माता लक्ष्मी का ध्यान करें। इससे आपकी सभी मनोकामना अवश्य पूर्ण होगी।
दूसरा उपाय-
अमावस्या के आप चावल की खीर बना लें।
फिर उस खीर में एक रोटी को बारिक पीसकर मिला लें।
अब खीर को कौओं के खाने के लिए अपने घर की छत पर रख दें।
इस उपाय से हमेशा पितरों का आशीर्वाद आप पर बना रहेगा। साथ ही इसे करने से पितृ दोष से मुक्ति भी मिलती है।
तीसरा उपाय-
यदि किसी जातक की कुंडली में चंद्र अशुभ हो या फिर किसी दुष्ट ग्रह के प्रभाव से अपना पूरा असर नहीं दे पा रहा है। ऐसे लोगों को अपनी मां से एक मुट्ठीभर चावल दान लेना चाहिए। इससे हमेशा के लिए चन्द्रमा की अशुभवता दूर हो जाती है।
चौथा उपाय-
पूर्णिमा या किसी शुभ मुहूर्त वाले दिन चावल को केसर या हल्दी में रंग कर पीला कर लें।
एक बात जरूर ध्यान रखें कि सभी चावल में से कोई भी दाना टूटा हुआ न हो।
पीला रंगने के बाद अब इन चावलों को किसी मंदिर में जाकर भगवान को समर्पित कर दें।
फिर आप भगवान से अपनी मनोकामना पूरी करने की प्रार्थना करें। इससे आपकी समस्याएं जल्दी ही दूर हो जाएंगी।
मां लक्ष्मी को रक्तचन्दन इस मंत्र के साथ समर्पण करें।
रक्तचन्दनसम्मिश्रं पारिजातसमुद्भवम्।
मया दत्तं महालक्ष्मि चन्दनं प्रतिगृह्यताम् ।
ॐ महालक्ष्म्यै नमः रक्तचन्दनं समर्पयामि।
फिर इस मंत्र से लक्ष्मी को पुष्प माला समर्पण कीजिए
माल्यादीनि सुगन्धीनि मालत्यादीनि वै प्रभो ।
ॐ मनसः काममाकूतिं वाचः सत्यमशीमहि ।
ॐ महालक्ष्म्यै नमः । पुष्पमालां समर्पयामि ।
उसके बाद इस मंत्र से मां लक्ष्मी का आवाहन करें।
सर्वलोकस्य जननीं सर्वसौख्यप्रदायिनीम ।
सर्वदेवमयीमीशां देवीमावाहयाम्यहम्।
ॐ तां म आवह जातवेदो लक्ष्मीमनपगामिनीम् | यस्यां हिरण्यं विन्देयं गामश्वं पुरुषानहम् ।
Read the full article
0 notes
शुक्रवार की रात मां लक्ष्मी को ऐसे करें प्रसन्न, इन उपायों को अपनाएंगे तो हमेशा बरसेगी कृपा
चैतन्य भारत न्यूज
शुक्रवार का दिन मां लक्ष्मी का दिन कहा जाता है। इस दिन मां लक्ष्मी की पूजा-अर्चना करने से धन-संबंधी सभी कष्ट दूर हो जाते हैं। साथ ही मां प्रसन्न होकर भक्तों को मनचाहा वरदान देती हैं। यदि आप भी अपने घर में हमेशा धन की वर्षा करवाना चाहते हैं और आर्थिक स्थिति में हमेशा सुधार रखना चाहते हैं तो शुक्रवार के दिन आप ये उपाय जरूर अपनाएं। लेकिन एक बात ध्यान रहे आपको ये उपाय रात 9 बजे से रात 12 बजे के बीच ही करना होगा। इससे सभी मनोकामनां हो पूरी हो जाएगी। एक और बात ध्यान रहे कि जब भी आप ये उपाय कर रहे हो तो आपको बीच में कोई भी रोके-टोके नहीं। आइए जानते हैं कैसे करना है ये उपाय-
पहला उपाय-
रात को घर के पूजा स्थल पर साफ-सफाई कर चौकी पर एक सफेद रंग का कपड़ा बिछा दें। उस पर कलश रखें।
कलश के ऊपर शुद्ध केसर से स्वस्तिक का चिन्ह बनाकर उसमें पानी भर दें।
अब कलश में दूर्वा, चावल और एक का सिक्का दाल दें। फिर एक छोटी प्लेट में चावल भरकर उसे कलश पर रख दें।
अब उसके ऊपर श्रीयंत्र की स्थापना कर दें।
कलश के बाई ओर चार बत्ती वाला एक दीया जलाकर उसकी कुमकुम और चावल से पूजन करें।
पूजन के बाद करीब 15 मिनट तक माता लक्ष्मी का ध्यान करें। इससे आपकी सभी मनोकामना अवश्य पूर्ण होगी।
दूसरा उपाय-
अमावस्या के आप चावल की खीर बना लें।
फिर उस खीर में एक रोटी को बारिक पीसकर मिला लें।
अब खीर को कौओं के खाने के लिए अपने घर की छत पर रख दें।
इस उपाय से हमेशा पितरों का आशीर्वाद आप पर बना रहेगा। साथ ही इसे करने से पितृ दोष से मुक्ति भी मिलती है।
त��सरा उपाय-
यदि किसी जातक की कुंडली में चंद्र अशुभ हो या फिर किसी दुष्ट ग्रह के प्रभाव से अपना पूरा असर नहीं दे पा रहा है। ऐसे लोगों को अपनी मां से एक मुट्ठीभर चावल दान लेना चाहिए। इससे हमेशा के लिए चन्द्रमा की अशुभवता दूर हो जाती है।
चौथा उपाय-
पूर्णिमा या किसी शुभ मुहूर्त वाले दिन चावल को केसर या हल्दी में रंग कर पीला कर लें।
एक बात जरूर ध्यान रखें कि सभी चावल में से कोई भी दाना टूटा हुआ न हो।
पीला रंगने के बाद अब इन चावलों को किसी मंदिर में जाकर भगवान को समर्पित कर दें।
फिर आप भगवान से अपनी मनोकामना पूरी करने की प्रार्थना करें। इससे आपकी समस्याएं जल्दी ही दूर हो जाएंगी।
मां लक्ष्मी को रक्तचन्दन इस मंत्र के साथ समर्पण करें।
रक्तचन्दनसम्मिश्रं पारिजातसमुद्भवम्।
मया दत्तं महालक्ष्मि चन्दनं प्रतिगृह्यताम् ।
ॐ महालक्ष्म्यै नमः रक्तचन्दनं समर्पयामि।
फिर इस मंत्र से लक्ष्मी को पुष्प माला समर्पण कीजिए
माल्यादीनि सुगन्धीनि मालत्यादीनि वै प्रभो ।
ॐ मनसः काममाकूतिं वाचः सत्यमशीमहि ।
ॐ महालक्ष्म्यै नमः । पुष्पमालां समर्पयामि ।
उसके बाद इस मंत्र से मां लक्ष्मी का आवाहन करें।
सर्वलोकस्य जननीं सर्वसौख्यप्रदायिनीम ।
सर्वदेवमयीमीशां देवीमावाहयाम्यहम्।
ॐ तां म आवह जातवेदो लक्ष्मीमनपगामिनीम् | यस्यां हिरण्यं विन्देयं गामश्वं पुरुषानहम् ।
Read the full article
0 notes
शुक्रवार की रात मां लक्ष्मी को ऐसे करें प्रसन्न, इन उपायों को अपनाएंगे तो हमेशा बरसेगी कृपा
चैतन्य भारत न्यूज
शुक्रवार का दिन मां लक्ष्मी का दिन कहा जाता है। इस दिन मां लक्ष्मी की पूजा-अर्चना करने से धन-संबंधी सभी कष्ट दूर हो जाते हैं। साथ ही मां प्रसन्न होकर भक्तों को मनचाहा वरदान देती हैं। यदि आप भी अपने घर में हमेशा धन की वर्षा करवाना चाहते हैं और आर्थिक स्थिति में हमेशा सुधार रखना चाहते हैं तो शुक्रवार के दिन आप ये उपाय जरूर अपनाएं। लेकिन एक बात ध्यान रहे आपको ये उपाय रात 9 बजे से रात 12 बजे के बीच ही करना होगा। इससे सभी मनोकामनां हो पूरी हो जाएगी। एक और बात ध्यान रहे कि जब भी आप ये उपाय कर रहे हो तो आपको बीच में कोई भी रोके-टोके नहीं। आइए जानते हैं कैसे करना है ये उपाय-
पहला उपाय-
रात को घर के पूजा स्थल पर साफ-सफाई कर चौकी पर एक सफेद रंग का कपड़ा बिछा दें। उस पर कलश रखें।
कलश के ऊपर शुद्ध केसर से स्वस्तिक का चिन्ह बनाकर उसमें पानी भर दें।
अब कलश में दूर्वा, चावल और एक का सिक्का दाल दें। फिर एक छोटी प्लेट में चावल भरकर उसे कलश पर रख दें।
अब उसके ऊपर श्रीयंत्र की स्थापना कर दें।
कलश के बाई ओर चार बत्ती वाला एक दीया जलाकर उसकी कुमकुम और चावल से पूजन करें।
पूजन के बाद करीब 15 मिनट तक माता लक्ष्मी का ध्यान करें। इससे आपकी सभी मनोकामना अवश्य पूर्ण होगी।
दूसरा उपाय-
अमावस्या के आप चावल की खीर बना लें।
फिर उस खीर में एक रोटी को बारिक पीसकर मिला लें।
अब खीर को कौओं के खाने के लिए अपने घर की छत पर रख दें।
इस उपाय से हमेशा पितरों का आशीर्वाद आप पर बना रहेगा। साथ ही इसे करने से पितृ दोष से मुक्ति भी मिलती है।
तीसरा उपाय-
यदि किसी जातक की कुंडली में चंद्र अशुभ हो या फिर किसी दुष्ट ग्रह के प्रभाव से अपना पूरा असर नहीं दे पा रहा है। ऐसे लोगों को अपनी मां से एक मुट्ठीभर चावल दान लेना चाहिए। इससे हमेशा के लिए चन्द्रमा की अशुभवता दूर हो जाती है।
चौथा उपाय-
पूर्णिमा या किसी शुभ मुहूर्त वाले दिन चावल को केसर या हल्दी में रंग कर पीला कर लें।
एक बात जरूर ध्यान रखें कि सभी चावल में से कोई भी दाना टूटा हुआ न हो।
पीला रंगने के बाद अब इन चावलों को किसी मंदिर में जाकर भगवान को समर्पित कर दें।
फिर आप भगवान से अपनी मनोकामना पूरी करने की प्रार्थना करें। इससे आपकी समस्याएं जल्दी ही दूर हो जाएंगी।
मां लक्ष्मी को रक्तचन्दन इस मंत्र के साथ समर्पण करें।
रक्तचन्दनसम्मिश्रं पारिजातसमुद्भवम्।
मया दत्तं महालक्ष्मि चन्दनं प्रतिगृह्यताम् ।
ॐ महालक्ष्म्यै नमः रक्तचन्दनं समर्पयामि।
फिर इस मंत्र से लक्ष्मी को पुष्प माला समर्पण कीजिए
माल्यादीनि सुगन्धीनि मालत्यादीनि वै प्रभो ।
ॐ मनसः काममाकूतिं वाचः सत्यमशीमहि ।
ॐ महालक्ष्म्यै नमः । पुष्पमालां समर्पयामि ।
उसके बाद इस मंत्र से मां लक्ष्मी का आवाहन करें।
सर्वलोकस्य जननीं सर्वसौख्यप्रदायिनीम ।
सर्वदेवमयीमीशां देवीमावाहयाम्यहम्।
ॐ तां म आवह जातवेदो लक्ष्मीमनपगामिनीम् | यस्यां हिरण्यं विन्देयं गामश्वं पुरुषानहम् ।
Read the full article
0 notes
शुक्रवार को इस विधि से पूजा करें, जरूर प्रसन्न होगी धन की देवी लक्ष्मी
चैतन्य भारत न्यूज
शुक्रवार के दिन मां लक्ष्मी की आराधना की जाती है। शास्त्रों में लक्ष्मी को चंचला कहा गया है। चंचला का मतलब है ऐसी देवी जिनका किसी एक स्थान पर अधिक समय तक रहना तय नहीं। जिन लोगों की आर्थिक स्थिति ठीक नहीं चल रही है वे लोग शुक्रवार के दिन मां लक्ष्मी की पूजा खासतौर से करें। इस दिन व्रत रखने का भी प्रावधान है। आइए जानते हैं मां लक्ष्मी की पूजा-विधि..
मां लक्ष्मी की पूजा-विधि-
मां लक्ष्मी की पूजा सफेद या गुलाबी वस्त्र पहनकर करनी चाहिए।
मां लक्ष्मी को गुलाबी पुष्प, विशेषकर कमल चढ़ाना सर्वोत्तम रहता है।
पूजा के दौरान पान का पत्ता, रोली, केसर, चावल, सुपारी, फल, फूल, नारियल, तांबे का कलश, लाल कपड़ा और घी होना चाहिए।
इसके बाद मां लक्ष्मी और गणपति बप्पा की मिट्टी की प्रतिमा स्थापित कर गंगाजल से स्नान कराएं।
इसके बाद सबसे पहले गणपति बप्पा और फिर लक्ष्मीजी का पूजन करें।
इस पूजा में गणपति बप्पा और लक्ष्मीजी के साथ भगवान विष्णु की स्थापना जरूर करें।
शुक्रवार के दिन भोजन और धन दान करना बेहद शुभ माना गया है।
मां लक्ष्मी के विशेष स्वरूप हैं, जिनकी उपासना शुक्रवार के दिन करने से विशेष लाभ की प्राप्ति होती है।
ये भी पढ़े...
शुक्रवार को दही खाने का होता है विशेष महत्व, जानिए वजह
शुक्रवार की रात मां लक्ष्मी को ऐसे करें प्रसन्न, इन उपायों को अपनाएंगे तो हमेशा बरसेगी कृपा
गुप्त नवरात्रि, देवशयनी एकादशी से लेकर गुरु पूर्णिमा तक, जुलाई में आने वाले हैं ये महत्वपूर्ण तीज-त्योहार
Read the full article
0 notes
माता लक्ष्मी को प्रसन्न करने के लिए शुक्रवार को इस विधि से करें पूजा-अर्चना, जरूर होगी शुभ फल की प्राप्ति
चैतन्य भारत न्यूज
शुक्रवार के दिन मां लक्ष्मी की आराधना की जाती है। शास्त्रों में लक्ष्मी को चंचला कहा गया है। चंचला का मतलब है ऐसी देवी जिनका किसी एक स्थान पर अधिक समय तक रहना तय नहीं। जिन लोगों की आर्थिक स्थिति ठीक नहीं चल रही है वे लोग शुक्रवार के दिन मां लक्ष्मी की पूजा खासतौर से करें। इस दिन व्रत रखने का भी प्रावधान है। आइए जानते हैं मां लक्ष्मी की पूजा-विधि...
मां लक्ष्मी की पूजा-विधि-
मां लक्ष्मी की पूजा सफेद या गुलाबी वस्त्र पहनकर करनी चाहिए।
मां लक्ष्मी को गुलाबी पुष्प, विशेषकर कमल चढ़ाना सर्वोत्तम रहता है।
पूजा के दौरान पान का पत्ता, रोली, केसर, चावल, सुपारी, फल, फूल, नारियल, तांबे का कलश, लाल कपड़ा और घी होना चाहिए।
इसके बाद मां लक्ष्मी और गणपति बप्पा की मिट्टी की प्रतिमा स्थापित कर गंगाजल से स्नान कराएं।
इसके बाद सबसे पहले गणपति बप्पा और फिर लक्ष्मीजी का पूजन करें।
इस पूजा में गणपति बप्पा और लक्ष्मीजी के साथ भगवान विष्णु की स्थापना जरूर करें।
शुक्रवार के दिन भोजन और धन दान करना बेहद शुभ माना गया है।
मां लक्ष्मी के विशेष स्वरूप हैं, जिनकी उपासना शुक्रवार के दिन करने से विशेष लाभ की प्राप्ति होती है।
ये भी पढ़े...
शुक्रवार को दही खाने का होता है विशेष महत्व, जानिए वजह
शुक्रवार की रात मां लक्ष्मी को ऐसे करें प्रसन्न, इन उपायों को अपनाएंगे तो हमेशा बरसेगी कृपा
गुप्त नवरात्रि, देवशयनी एकादशी से लेकर गुरु पूर्णिमा तक, जुलाई में आने वाले हैं ये महत्वपूर्ण तीज-त्योहार
Read the full article
0 notes
शुक्रवार की रात मां लक्ष्मी को ऐसे करें प्रसन्न, इन उपायों को अपनाएंगे तो हमेशा बरसेगी कृपा
चैतन्य भारत न्यूज
शुक्रवार का दिन मां लक्ष्मी का दिन कहा जाता है। इस दिन मां लक्ष्मी की पूजा-अर्चना करने से धन-संबंधी सभी कष्ट दूर हो जाते हैं। साथ ही मां प्रसन्न होकर भक्तों को मनचाहा वरदान देती हैं। यदि आप भी अपने घर में हमेशा धन की वर्षा करवाना चाहते हैं और आर्थिक स्थिति में हमेशा सुधार रखना चाहते हैं तो शुक्रवार के दिन आप ये उपाय जरूर अपनाएं। लेकिन एक बात ध्यान रहे आपको ये उपाय रात 9 बजे से रात 12 बजे के बीच ही करना होगा। इससे सभी मनोकामनां हो पूरी हो जाएगी। एक और बात ध्यान रहे कि जब भी आप ये उपाय कर रहे हो तो आपको बीच में कोई भी रोके-टोके नहीं। आइए जानते हैं कैसे करना है ये उपाय-
पहला उपाय-
रात को घर के पूजा स्थल पर साफ-सफाई कर चौकी पर एक सफेद रंग का कपड़ा बिछा दें। उस पर कलश रखें।
कलश के ऊपर शुद्ध केसर से स्वस्तिक का चिन्ह बनाकर उसमें पानी भर दें।
अब कलश में दूर्वा, चावल और एक का सिक्का दाल दें। फिर एक छोटी प्लेट में चावल भरकर उसे कलश पर रख दें।
अब उसके ऊपर श्रीयंत्र की स्थापना कर दें।
कलश के बाई ओर चार बत्ती वाला एक दीया जलाकर उसकी कुमकुम और चावल से पूजन करें।
पूजन के बाद करीब 15 मिनट तक माता लक्ष्मी का ध्यान करें। इससे आपकी सभी मनोकामना अवश्य पूर्ण होगी।
दूसरा उपाय-
अमावस्या के आप चावल की खीर बना लें।
फिर उस खीर में एक रोटी को बारिक पीसकर मिला लें।
अब खीर को कौओं के खाने के लिए अपने घर की छत पर रख दें।
इस उपाय से हमेशा पितरों का आशीर्वाद आप पर बना रहेगा। साथ ही इसे करने से पितृ दोष से मुक्ति भी मिलती है।
तीसरा उपाय-
यदि किसी जातक की कुंडली में चंद्र अशुभ हो या फिर किसी दुष्ट ग्रह के प्रभाव से अपना पूरा असर नहीं दे पा रहा है। ऐसे लोगों को अपनी मां से एक मुट्ठीभर चावल दान लेना चाहिए। इससे हमेशा के लिए चन्द्रमा की अशुभवता दूर हो जाती है।
चौथा उपाय-
पूर्णिमा या किसी शुभ मुहूर्त वाले दिन चावल को केसर या हल्दी में रंग कर पीला कर लें।
एक बात जरूर ध्यान रखें कि सभी चावल में से कोई भी दाना टूटा हुआ न हो।
पीला रंगने के बाद अब इन चावलों को किसी मंदिर में जाकर भगवान को समर्पित कर दें।
फिर आप भगवान से अपनी मनोकामना पूरी करने की प्रार्थना करें। इससे आपकी समस्याएं जल्दी ही दूर हो जाएंगी।
मां लक्ष्मी को रक्तचन्दन इस मंत्र के साथ समर्पण करें।
रक्तचन्दनसम्मिश्रं पारिजातसमुद्भवम्।
मया दत्तं महालक्ष्मि चन्दनं प्रतिगृह्यताम् ।
ॐ महालक्ष्म्यै नमः रक्तचन्दनं समर्पयामि।
फिर इस मंत्र से लक्ष्मी को पुष्प माला समर्पण कीजिए
माल्यादीनि सुगन्धीनि मालत्यादीनि वै प्रभो ।
ॐ मनसः काममाकूतिं वाचः सत्यमशीमहि ।
ॐ महालक्ष्म्यै नमः । पुष्पमालां समर्पयामि ।
उसके बाद इस मंत्र से मां लक्ष्मी का आवाहन करें।
सर्वलोकस्य जननीं सर्वसौख्यप्रदायिनीम ।
सर्वदेवमयीमीशां देवीमावाहयाम्यहम्।
ॐ तां म आवह जातवेदो लक्ष्मीमनपगामिनीम् | यस्यां हिरण्यं विन्देयं गामश्वं पुरुषानहम् ।
Read the full article
0 notes
शुक्रवार को इस तरह पूजा करके आप बन सकते हैं धनवान, जरूर बरसेगी मां लक्ष्मी की कृपा
चैतन्य भारत न्यूज
हिंदू धर्म में हर दिन किसी न किसी देवी-देवता समर्पित है। इसके मुताबिक शुक्रवार का दिन माता लक्ष्मी का दिन होता है। मान्यता है कि इस दिन माता लक्ष्मी की पूजा करने से व्यक्ति की हर मनोकामना पूरी होती है। आइए जानते हैं इस व्रत का महत्व और पूजन-विधि।
(adsbygoogle = window.adsbygoogle || ).push({});
शुक्रवार व्रत का महत्व
शुक्रवार का दिन मां लक्ष्मी की उपासना के लिए सबसे उपयुक्त माना जाता है। मान्यता है कि लक्ष्मी जी की पूजा करने से व्यक्ति के घर में कभी धन का अभाव नहीं रहता है। लक्ष्मी जी को हिंदू धर्म में सुख-समृद्धि, धन, वैभव तथा ऐश्वर्य की देवी माना जाता है। इसके अलावा यह व्रत धन, विवाह, बच्चे और भौतिकवादी सुख प्राप्त करने के लिए किया जाता है।
शुक्रवार व्रत पूजन-विधि
शुक्रवार को पूरे दिन व्रत रख शाम को स्नान के बाद माता लक्ष्मी की पूजा करें।
वैभव लक्ष्मी की मूर्ति या चित्र की पूजा में खासतौर पर लाल चंदन, गंध, लाल वस्त्र, लाल फूल अर्पित करें।
पूजा के बाद दान का अधिक महत्व है।
पूजा के बाद समृद्धि व शांति की इच्छा से इस वैभव लक्ष्मी मंत्र का यथाशक्ति जप करें-
या रक्ताम्बुजवासिनी विलासिनी चण्डांशु तेजस्विनी।
या रक्ता रुधिराम्बरा हरिसखी या श्री मनोल्हादिनी॥
या रत्नाकरमन्थनात्प्रगटिता विष्णोस्वया गेहिनी।
सा मां पातु मनोरमा भगवती लक्ष्मीश्च पद्मावती ॥
ये भी पढ़े...
सुख, शांति और समृद्धि के लिए शुक्रवार को ऐसे करें मां संतोषी की पूजा
शनिवार के दिन इस तरह पूजन से प्रसन्न होंगे शनिदेव, जानिए व्रत का महत्व और पूजा-विधि
मनचाही सफलता के लिए रविवार को इस विधि से करें सूर्य देवता की पूजा
Read the full article
0 notes
शुक्रवार की शाम इस तरह करें माता लक्ष्मी की पूजा, दूर होगी धन से जुड़ी समस्या
चैतन्य भारत न्यूज
हिंदू धर्म में हर दिन किसी न किसी देवी-देवता समर्पित है। इसके मुताबिक शुक्रवार का दिन माता लक्ष्मी का दिन होता है। मान्यता है कि इस दिन माता लक्ष्मी की पूजा करने से व्यक्ति की हर मनोकामना पूरी होती है। आइए जानते हैं इस व्रत का महत्व और पूजन-विधि।
(adsbygoogle = window.adsbygoogle || ).push({});
शुक्रवार व्रत का महत्व
शुक्रवार का दिन मां लक्ष्मी की उपासना के लिए सबसे उपयुक्त माना जाता है। मान्यता है कि लक्ष्मी जी की पूजा करने से व्यक्ति के घर में कभी धन का अभाव नहीं रहता है। लक्ष्मी जी को हिंदू धर्म में सुख-समृद्धि, धन, वैभव तथा ऐश्वर्य की देवी माना जाता है। इसके अलावा यह व्रत धन, विवाह, बच्चे और भौतिकवादी सुख प्राप्त करने के लिए किया जाता है।
शुक्रवार व्रत पूजन-विधि
शुक्रवार को पूरे दिन व्रत रख शाम को स्नान के बाद माता लक्ष्मी की पूजा करें।
वैभव लक्ष्मी की मूर्ति या चित्र की पूजा में खासतौर पर लाल चंदन, गंध, लाल वस्त्र, लाल फूल अर्पित करें।
पूजा के बाद दान का अधिक महत्व है।
पूजा के बाद समृद्धि व शांति की इच्छा से इस वैभव लक्ष्मी मंत्र का यथाशक्ति जप करें-
या रक्ताम्बुजवासिनी विलासिनी चण्डांशु तेजस्विनी।
या रक्ता रुधिराम्बरा हरिसखी या श्री मनोल्हादिनी॥
या रत्नाकरमन्थनात्प्रगटिता विष्णोस्वया गेहिनी।
सा मां पातु मनोरमा भगवती लक्ष्मीश्च पद्मावती ॥
ये भी पढ़े...
सुख, शांति और समृद्धि के लिए शुक्रवार को ऐसे करें मां संतोषी की पूजा
शनिवार के दिन इस तरह पूजन से प्रसन्न होंगे शनिदेव, जानिए व्रत का महत्व और पूजा-विधि
मनचाही सफलता के लिए रविवार को इस विधि से करें सूर्य देवता की पूजा
Read the full article
0 notes
शुक्रवार की शाम इस तरह करें माता लक्ष्मी की पूजा, दूर होगी धन से जुड़ी समस्या
चैतन्य भारत न्यूज
हिंदू धर्म में हर दिन किसी न किसी देवी-देवता समर्पित है। इसके मुताबिक शुक्रवार का दिन माता लक्ष्मी का दिन होता है। मान्यता है कि इस दिन माता लक्ष्मी की पूजा करने से व्यक्ति की हर मनोकामना पूरी होती है। आइए जानते हैं इस व्रत का महत्व और पूजन-विधि।
(adsbygoogle = window.adsbygoogle || ).push({});
शुक्रवार व्रत का महत्व
शुक्रवार का दिन मां लक्ष्मी की उपासना के लिए सबसे उपयुक्त माना जाता है। मान्यता है कि लक्ष्मी जी की पूजा करने से व्यक्ति के घर में कभी धन का अभाव नहीं रहता है। लक्ष्मी जी को हिंदू धर्म में सुख-समृद्धि, धन, वैभव तथा ऐश्वर्य की देवी माना जाता है। इसके अलावा यह व्रत धन, विवाह, बच्चे और भौतिकवादी सुख प्राप्त करने के लिए किया जाता है।
शुक्रवार व्रत पूजन-विधि
शुक्रवार को पूरे दिन व्रत रख शाम को स्नान के बाद माता लक्ष्मी की पूजा करें।
वैभव लक्ष्मी की मूर्ति या चित्र की पूजा में खासतौर पर लाल चंदन, गंध, लाल वस्त्र, लाल फूल अर्पित करें।
पूजा के बाद दान का अधिक महत्व है।
पूजा के बाद समृद्धि व शांति की इच्छा से इस वैभव लक्ष्मी मंत्र का यथाशक्ति जप करें-
या रक्ताम्बुजवासिनी विलासिनी चण्डांशु तेजस्विनी।
या रक्ता रुधिराम्बरा हरिसखी या श्री मनोल्हादिनी॥
या रत्नाकरमन्थनात्प्रगटिता विष्णोस्वया गेहिनी।
सा मां पातु मनोरमा भगवती लक्ष्मीश्च पद्मावती ॥
ये भी पढ़े...
सुख, शांति और समृद्धि के लिए शुक्रवार को ऐसे करें मां संतोषी की पूजा
शनिवार के दिन इस तरह पूजन से प्रसन्न होंगे शनिदेव, जानिए व्रत का महत्व और पूजा-विधि
मनचाही सफलता के लिए रविवार को इस विधि से करें सूर्य देवता की पूजा
Read the full article
0 notes
सौभाग्य पंचमी या लाभ पंचमी आज, महालक्ष्मी को प्रिय है इच्छाओं की पूर्ति करने वाला यह त्योहार, जानें महत्व, पूजन विधि, शुभ मुहूर्त
चैतन्य भारत न्यूज
कार्तिक मास में शुक्ल पक्ष की पंचमी तिथि को सौभाग्य पंचमी का त्योहार मनाया जाता है। इस साल ये पर्व 19 नवंबर, गुरुवार को मनाया जाएगा। ये पर्व मां लक्ष्मी को दिवाली जितना ही प्रिय है। इस दिन मां लक्ष्मी के पूजन से जीवन की हर मनोकामना पूर्ण हो जाती है। इस पर्व को व्यापार में वृद्धि के रूप में बहुत ही शुभ माना जाता है। सौभाग्य पंचमी को ज्ञान पंचमी या लाभ पंचमी के नाम से भी जाना जाता है। इस दिन भगवान गणेश और देवी लक्ष्मी की पूजा-अर्चना की जाती है।
लाभ पंचमी कब है और शुभ मुहूर्त
लाभ पंचमी गुरुवार 19 नवंबर 2020
लाभ पंचमी पूजा मुहूर्त/समय : - प्रातः 6:51 से प्रातः 10:21 तक
अवधि : - 3 घंटे 30 मिनट
पंचमी तीथि आरंभ: - 18 नवंबर-2020 को सुबह 11:15 बजे
पंचमी तीथि समाप्त: - 19:58-नवंबर -20 को सुबह 9:58 बजे
लाभ पंचमी का महत्व
लाभ पंचमी को सौभाग्य वर्धन करने वाला दिन माना गया है। इसे ज्ञान पंचमी के रूप में भी जाना जाता है। इस दिन भगवान गणेश और मां लक्ष्मी की पूजा-अर्चना की जाती है।
पूजन व व्रत विधि
प्रात: जल्दी उठकर स्नान करें।
भगवान सूर्य को जल दें।
भगवान गणेश और मां लक्ष्मी जी की प्रतिमाओं के सामने बैठें और उनका पूजन करें।
गणपति जी को चंदन, सिंदूर, अक्षत, फूल, दूर्वा आदि अर्पित करें।
मां लक्ष्मी को गुलाब अर्पित करें। लाल वस्त्र, इत्र, फल आदि अर्पित करें।
भगवान श्रीगणेश को मोदक और भगवान शिव को दूध से बने पकवान का भोग लगाएं।
Read the full article
0 notes
#शुभम करोति कल्याणम,अरोग्यम धन संपदा,* *शत्रु-बुद्धि विनाशायः,दीपःज्योति नमोस्तुते !* **आपको और आपके परिवार को मेरी तरफ से #दीपावली की #हार्दिक हार्दिक #शुभकामनाएं ! #मांलक्ष्मी की कृपा आप पर सदा बनी रहे **!🙏🙏 🙏🏻 *ॐ शर्मा* Kisna Computer Bhojpur👏🏻👏🏻💐🌼 #priteejinagarujjain #omsharmabhojpur #babykisna #babymahaveer #happydiwali https://www.instagram.com/p/CHjnxgsFDvm/?igshid=1d3wxqqsgdkji
0 notes