Lalu Yadav: अपने पुराने अंदाज में नजर आए पूर्व सीएम लालू यादव
बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री लालू यादव (Lalu Yadav) ने शुक्रवार को INDIA गठबंधन के मंच से संयुक्त प्रेसवार्ता में केंद्र सरकार और भाजपा पर जमकर निशाना साधा। उन्होंने अपने अलग ही अंदाज में चुटकी लेते हुए अपनी बात रखी। इस दौरान वहां मौजूद लोग ठहाके लगाते हुए दिखाई दिए। लालू ने अपने संबोधन में गठबंधन में शामिल सभी दलों के मिलकर लड़ने की बात भी कही।
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लालू प्रसाद यादव यांचा ऑपरेशननंतर पहिला व्हीडिओ त्यांच्या मुलीकडून शेअर, म्हणाली…
लालू प्रसाद यादव यांचा ऑपरेशननंतर पहिला व्हीडिओ त्यांच्या मुलीकडून शेअर, म्हणाली…
लालू प्रसाद यादव यांचा ऑपरेशननंतर पहिला व्हीडिओ त्यांच्या मुलीकडून शेअर, म्हणाली…
नवी दिल्लीः राष्ट्रीय जनता दलाचे अध्यक्ष लालू प्रसाद यादव गेल्या काही दिवसांपासून किडनीच्या आजाराने त्रस्त होते. त्यांच्यावर आता सिंगापूरमधील किडनी ट्रान्सप्लांटची शस्त्रक्रियी यशस्वी झाली आहे. लालू प्रसाद यादव यांच्या या किडनी ट्रान्सप्लांटची माहिती देताना डॉ. मिसा भारती यांनी सांगितले आहे की, आपल्या वडिलांची…
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मंत्री तेजप्रताप यादव के IT टीम ने न्यूज चैनल से मांगे 2 लाख, फिर दी धमकी, थाना में दिया आवेदन
मोतिहारी। राजद सुप्रीमों लालू प्रसाद यादव के बड़े तेज प्रताप यादव के IT टीम के खिलाफ एक न्यूज चैनल के पत्रकार प्रकाश राज ने प्राथमिकी दर्ज करने के लिए पकड़ीदयाल थाना में आवेदन दिया है।
पुलिस को दिए गए आवेदन में पत्रकार ने मंत्री तेजप्रताप यादव के नाम पर उनके आईटी टीम के द्वारा 2 लाख रुपए मांगने का आरोप लगाया है। पत्रकार की माने तो उसके यूट्यूब न्यूज चैनल पर मंत्री तेजप्रताप यादव के द्वारा…
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राजद प्रमुख लालू प्रसाद को दिल्ली में 'बंधक' बनाए जाने पर नीतीश सरकार मुक्त करेगी: जद (यू) | पटना समाचार - टाइम्स ऑफ इंडिया
राजद प्रमुख लालू प्रसाद को दिल्ली में ‘बंधक’ बनाए जाने पर नीतीश सरकार मुक्त करेगी: जद (यू) | पटना समाचार – टाइम्स ऑफ इंडिया
पटना : बिहार में सत्तारूढ़ जद (यू) ने रविवार को कहा कि नीतीश कुमार के नेतृत्व वाली राज्य सरकार राजद अध्यक्ष को मुक्त करेगी. लालू प्रसाद अगर उन्हें दिल्ली में ‘बंधक’ बनाया जाता है। लालू के बड़े बेटे और असंतुष्ट राजद नेता तेज प्रताप यादव ने शनिवार को आरोप लगाया था कि इस साल की शुरुआत में जमानत मिलने के बावजूद उनके पिता को दिल्ली में ‘बंधक’ बनाया गया है। तेज प्रताप के आरोप पर प्रतिक्रिया देते हुए,…
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Bihar: तेज प्रताप का तेजस्वी पर 'प्रहार', कहा- पिता लालू यादव को दिल्ली में बंधक बनाकर रखा
Bihar: तेज प्रताप का तेजस्वी पर ‘प्रहार’, कहा- पिता लालू यादव को दिल्ली में बंधक बनाकर रखा
पटना. बिहार की राजनीति के ‘कृष्ण’ और ‘अर्जुन’ के बीच सबकुछ ठीक नहीं चल रहा है. राष्ट्रीय जनता दल (आरजेडी) के अध्यक्ष लालू यादव (Lalu Yadav) के बड़े बेटे तेज प्रताप यादव (Tej Pratap Yadav) ने अपने छोटे भाई तेजस्वी यादव (Tejashwi Yadav) के खिलाफ बिगुल फूंक दिया है. तेज प्रताप ने इशारों-इशारों में तेजस्वी पर निशाना साधते हुए कहा कि आरजेडी (RJD) में कुछ लोग राष्ट्रीय अध्यक्ष बनने का सपना देख रहे हैं.…
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बिहार चुनाव के बीच मां दुर्गा की उपासना में लीन हुए RJD सुप्रीमो लालू यादव, देंगे तीन बकरों की बलि! रवि सिन्हा, रांचीबिहार में विधानसभा चुनाव को लेकर राजनीतिक सरगर्मी चरम पर है, वहीं चुनाव से दूर चारा घोटाले के मामले में सजायफ्ता राष्ट्रीय जनता दल (Rashtriya Janata Dal) अध्यक्ष लालू प्रसाद यादव (Lalu Prasad Yadav) रिम्स (RIMS) में इलाज के क्रम में केली बंगले में मां दुर्गा की उपासना में लीन है। इस बीच नवरात्र के अवसर पर रिम्स के केली बंगले में ही बकरे की बलि देने की भी तैयारी हो रही है।
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Corona से बचने पेइंग वार्ड से हटाए गए लालू यादव, रिम्स निदेशक के बंगला में रहेंगे RJD सुप्रीमो
Corona से बचने पेइंग वार्ड से हटाए गए लालू यादव, रिम्स निदेशक के बंगला में रहेंगे RJD सुप्रीमो
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कोरोना के बढ़ते खतरे को देखते हुए झारखंड सरकार ने फैसला लिया है. DSP और जेल अधीक्षक की उपस्थिति में लालू प्रसाद की शिफ्टिंग के दौरान राजद (RJD) सुप्रीमो ने मीडिया के किसी सवाल का जवाब नहीं दिया. वहीं शिफ्टिंग के बाद लालू प्रसाद (Lalu Prasad…
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शरद: पूर्व केंद्रीय मंत्री शरद यादव ने लालू की राजद में अपनी एलजेडी पार्टी का विलय किया | इंडिया न्यूज - टाइम्स ऑफ इंडिया
शरद: पूर्व केंद्रीय मंत्री शरद यादव ने लालू की राजद में अपनी एलजेडी पार्टी का विलय किया | इंडिया न्यूज – टाइम्स ऑफ इंडिया
NEW DELHI: पूर्व केंद्रीय मंत्री और दिग्गज समाजवादी नेता शरद यादव रविवार को औपचारिक रूप से अपने लोकतांत्रिक जनता दल का विलय कर दिया।एलजेडी) लालू प्रसाद के राष्ट्रीय जनता दल के साथ (राजद) पत्रकारों से बात करते हुए, शरद यादव ने कहा कि एलजेडी और राजद का विलय विपक्षी एकता की दिशा में पहला कदम है। यादव ने कहा, “यह जरूरी है कि भाजपा को हराने के लिए पूरे भारत में पूरा विपक्ष एकजुट हो जाए। अभी एकीकरण…
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शरद: पूर्व केंद्रीय मंत्री शरद यादव ने लालू की राजद में अपनी एलजेडी पार्टी का विलय किया | इंडिया न्यूज - टाइम्स ऑफ इंडिया
शरद: पूर्व केंद्रीय मंत्री शरद यादव ने लालू की राजद में अपनी एलजेडी पार्टी का विलय किया | इंडिया न्यूज – टाइम्स ऑफ इंडिया
NEW DELHI: पूर्व केंद्रीय मंत्री और दिग्गज समाजवादी नेता शरद यादव रविवार को औपचारिक रूप से अपने लोकतांत्रिक जनता दल का विलय कर दिया।एलजेडी) लालू प्रसाद के राष्ट्रीय जनता दल के साथ (राजद) पत्रकारों से बात करते हुए, शरद यादव ने कहा कि एलजेडी और राजद का विलय विपक्षी एकता की दिशा में पहला कदम है। यादव ने कहा, “यह जरूरी है कि भाजपा को हराने के लिए पूरे भारत में पूरा विपक्ष एकजुट हो जाए। अभी एकीकरण…
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बाबांना मी फक्त माझ्या शरीराचा मांसाचा एक तुकडा देतेय, लालू प्रसाद यादव यांच्या मुलीची भावूक पोस्ट
बाबांना मी फक्त माझ्या शरीराचा मांसाचा एक तुकडा देतेय, लालू प्रसाद यादव यांच्या मुलीची भावूक पोस्ट
बाबांना मी फक्त माझ्या शरीराचा मांसाचा एक तुकडा देतेय, लालू प्रसाद यादव यांच्या मुलीची भावूक पोस्ट
नवी दिल्लीः आरजेडी सुप्रीमो लालू प्रसाद यादव (Lalu Prasad Yadav) यांच्यावर आज सोमवारी सिंगापूरमध्ये किडनी ट्रान्सप्लांटची शस्त्रक्रिया केली जाईल. मुलगी रोहिणी आचार्य (Rohini Acharya) लालूंना किडनी दान करणार आहेत. काही दिवसांपूर्वीच रोहिणी यांनी यासंबंधीची माहिती दिली होती. आपल्या वडिलांना किडनी दान…
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डोरंडा घोटाले में लालू प्रसाद यादव के खिलाफ एड फाइल केस दर्ज किया गया था - कठिन कठिन परिस्थितियों में सजा लालू यादव को एक और झटका लगा,
डोरंडा घोटाले में लालू प्रसाद यादव के खिलाफ एड फाइल केस दर्ज किया गया था – कठिन कठिन परिस्थितियों में सजा लालू यादव को एक और झटका लगा,
न्यूज, अमर उजाला, रेहड़ी
द्वारा प्रकाशित: अमित मंडल
अपडेटेड बुध, 16 मार्च 2022 10:05 PM IST
सर
रोबीटा के न्यायाधीश के पद कोन्शा से संबंधित स्थिति के अनुसार, विशेष कार्य के लिए उन्हें आदेश जारी किया गया था।
खबर
खबर
संकट के समय में खराब होने की स्थिति में है। वर्तमान समय में मौसम में बरती जाने वाली जानकारी। अरबांध कोषागार से 139.35 अरब डॉलर में अरब डॉलर की उत्पत्ति हुई है। स्पेशल की कोर्ट से 21…
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चारा घोटाला: तीन साल बाद जेल से बाहर आए लालू प्रसाद यादव, 12 दिन पहले मिली थी जमानत
चैतन्य भारत न्यूज
पटना. चारा घोटाला मामले में सजायाफ्ता राष्ट्रीय जनता दल (RJD) के सुप्रीमो लालू प्रसाद यादव जेल से रिहा हो गए हैं। रांची हाईकोर्ट द्वारा जमानत मिलने के 12 दिनों बाद लालू जेल से बहार आएं हैं। बता दें कि लालू प्रसाद यादव झारखंड के दुमका कोषागार में अवैध निकासी से जुड़े मामले में 19 मार्च 2018 से सजा काट रहे थे।
झारखंड हाईकोर्ट ने बीते 17 अप्रैल को मामले में जमानत की सुविधा दी थी, लेकिन अधिवक्ताओं के कार्य नहीं किए जाने के कारण बेल बॉड नहीं भरा जा सका था। बार कौंसिल ऑफ इंडिया के आदेश के बाद गुरुवार को लालू प्रसाद के पैरवीकार अधिवक्ता ने दो निजी मुचलके दाखिल किए, जिसे कोर्ट ने सही पाकर बिरसा मुंडा केन्द्रीय कारा होटवार के जेल अधीक्षक को भेज दिया। साथ ही लालू प्रसाद को जेल से छोड़ने का आदेश जारी किया।
चारा घोटाला से जुड़े अन्य मामलों जैसे चईबासा और देवघर कोषागार मामले में लालू प्रसाद को पहले से ही जमानत मिली हुई है। सिर्फ दुमका कोषागार का मामला ही ऐसा था जिसमें जमानत मिलने पर लालू के जेल से बाहर आने का रास्ता साफ हो सकता था। झारखंड हाईकोर्ट ने लालू को इस मामले में भी जमानत दे दी थी जिसके बाद उनके जेल से बाहर निकलने का रास्ता साफ हो गया था। इस मामले में सीबीआई के विशेष न्यायाधीश शिवपाल सिंह की अदालत ने लालू प्रसाद को दो धाराओं में सात-सात साल की सजा सुनाई थी। कोर्ट ने दोनों सजा को अलग-अलग काटने का निर्देश दिया था। इसी मामले में लालू यादव जेल में थे। फिलहाल लालू बिना अनुमति के वे देश से बाहर नहीं जाएंगे।
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लालू यादव : एक नेता से मसीहा तक का सफर
अभी लालू यादव अपनी बीमारी के कारण एम्स, दिल्ली में भर्ती हैं। वे रांची उच्चन्यायालय से चारा घोटाले के केस में सजायाफ्ता हैं। इसके बावजूद वे हमेशा समाचार का मुख्य बिंदु बने रहते है। उनकी बेल को लेकर हमेशा समाचार आते रहता है। कभी अपने दो पुत्र, तेजस्वी यादव और तेजप्रताप यादव के कारण भी न्यूज में आते रहते है। अभी हाल ही में लालू यादव ने अपने बड़े पुत्र तेजप्रताप को दिल्ली बुलाया था। जिसके बाद बिहार का राजनीतिक पारा चढ़ गया था।
आज लालू यादव भले ही अपने भ्रष्टाचार के कारण जेल में हैं लेकिन कभी बिहार के लोगों के लिए मसीहा थे। आज भी पिछड़ी जातियों के लिए एक मसीहा ही है। किसी भी इंसान के लिए एक आम आदमी से मसीहा बनने का सफर आसान नहीं होता है। एक गरीब परिवार का बेटा जो बिहार की राजनीति में बिना लाव-लश्कर के बिहार का मुख्यमंत्री बन जाता है। उसके बाद वह लोगों के बीच मसीहा घोषित हो जाता है।
लालू यादव एक नेता है। इसमें किसी को अतिश्योकति नहीं होनी चाहिए। लालू यादव के पूराने साथी नरेंद्र सिंह कहते है, लालू यादव लोगों का ध्यान बहुत आसानी से खींच सकते थे। उनका बोलने का विशेष अंदाज और तमाशा करने की योग्यता हमारा काम आसान कर सकती थी। एक बार हमें किसी सभा के बारे में घोषणा करनी थी और हमारे पास समय का बहुत अभाव था। मुझे याद है, वे कॉलेज के गलियारे की रेलिंग पर चढ़ गए और अपना गमछा हिला-हिलाकर कुछ ही मिनटों में सैकड़ों छात्रों को इकट्ठा कर लिया। वे एक अच्छे ढोलकिया थे। लालू यादव किसी भी आनुशासन के पाबंद नहीं थे। कहीं बैठ जाना, कहीं खाना खा लेना, कहीं रुक जाना। शायद यहीं चीजें उन्हें एक नेता बनाती है। जो लोगों के बीच रहने में से उन्हें हासिल होती है।
लालू यादव का मुख्यमंत्री बनने की कहानी भी दिलचस्प हैं। वर्ष 1989 में कर्पूरी ठाकुर के देहांत के बाद लालू यादव के पास विपक्ष का नेता बनने का शानदार मौका था। उस मौके को वह हर हाल में भंजाना चाहते थे। वी.पी.सिंह और देवीलाल के सानिध्य में रहने का उन्हें का फल मिला। लालू यादव बिहार विधानसभा के विपक्ष के नेता बन गए। अब उन्हें बिहार में होने वाले चुनाव की तरफ नजर थी। लोकसभा 1989 का चुनाव बिहार विधानसभा चुनाव के 4 माह पूर्व हुआ था। लालू यादव में इतना धैर्य नहीं था कि वे पटना में रहकर सब्र करें। उन्होंने बिहार विधानसभा से विपक्ष के नेता से इस्तीफा दे दिया। लोकसभा जाने के लिए छपरा संसदीय क्षेत्र से चुनाव लड़ने के लिए खड़ा हो गए। इससे वे वी.पी.सिंह और देवीलाल के करीब भी हो जाते लेकिन वे राजनीति के पक्के गुण सीख चुके थे। राजनीति में कोई दोस्त या दुश्मन नहीं होता। लालू यादव इस गुण बात को समझ गए थे।
जब बिहार में जनता दल ने अपने बूते 324 सीटों में से 132 हासिल की थी। वी.पी. सिंह, जो प्रधानमंत्री बन गए थे, लेकिन लालू यादव से किया अपना वादा भूल गए थे। उन्हें बिहार में कोई दलित नेता को मुख्यमंत्री बनाना चाहते थे। वी.पी. सिंह ने रामसुंदर दास को बिहार के मुख्यमंत्री पद के लिए चुना था। इस कार्य के लिए उन्होंने चौधरी चरण सिंह के बेटे अजीत सिंह को भेजा। अजीत सिंह राजनीति में अभी नौसिखिए थे। वी.पी.सिंह ने यह जिम्मेदारी सिर्फ उनपर नहीं छोड़ी बल्कि रामसुंदर दास की टीम मजबूत करने के लिए जॉर्ज फर्नांडिस और सुरेंद्र मोहन को पटना भेजा। इतना सब होने के बाद लालू यादव चुप कैसे बैठ सकते थे। उन्होंने चंद्रशेखर से मदद मांगी। चंद्रशेखर वी.पी.सिंह को खासा पसंद नहीं करते थे। लालू यादव ने इसका फायदा उठाया। जिस दिन नेता के चुनाव के लिए बैठक थी, वहां अचानक दो के बदले तीन दावेदार प्रकट हुए। वी.पी. सिंह के चहेते रामसुदंर दास, चंद्रशेखर ने जिस उम्मीदवार को वोट कांटने के लिए खड़ा किया था, रघुनाथ झा और तीसरे दावेदार थे – खुद लालू प्रसाद यादव। इस दावेदारी में लालू यादव बाजी मार ले गए।
आखिरकार 10 मार्च 1990 को लालू यादव बिहार के मुख्यमंत्री बन गए।
यहां से शुरू होता है लालू यादव का मसीहा बनने की राह। लालू यादव बिहार के पहले मुख्यमंत्री थे, जिन्होंने शपथ ग्रहण समारोह को औपनिवेशिक युग के राजभवन के दायरे से बाहर लाकर सार्वजनिक मैदान में आयोजित करने का निर्णय लिया था। जो बेहद लोकप्रिय साबित हुआ था। गांधी मैदान में हजारों लोग एकत्र हो गए। वह शपथ ग्रहण किसी औपचारिक समारोह की तरह बिल्कुल नहीं था। वह एक विशाल जश्न की तरह था, एक उद्दाम मेले की तरह। उत्साहित भीड़ चीख रही थी, चिल्ला रही थी, धक्का-मुक्की कर रही थी, नारे लगा रही थी, ‘जनता दल जिंदाबाद! लालू यादव जिंदाबाद! जय प्रकाश नारायण अमर रहें!’
लालू यादव ने 10 मार्च, 1990 को शपथ ग्रहण समारोह में एक अलग बिहार बनाने का वादा किया। वे बिहार को नरक में गिरने से रोक लेंगे। वे बिहार को गड्ढे से खींच लाएँगे। ‘‘अब कोई अत्याचार नहीं होगा, अब कोई जुल्म नहीं होगा, अब कोई भ्रष्टाचार नहीं होगा, अब कोई बेईमानी नहीं होगी, यह कसम हम खाए हैं। अब असल लोकतंत्र बनाना है, लोगों का लोकतंत्र।’’ उन्होंने पदभार ग्रहण करने के बाद एक सभा में कहा, ‘‘नया राज, लोक राज बनाना है। गांधी और जय प्रकाश के सपनों का बिहार बनाना है। विश्वनाथ प्रताप सिंह के सिद्धांतों पर चलकर एक नए बिहार का निर्माण करना है।’’
बिहार के किसी मुख्यमंत्री ने 1 अणे मार्ग में स्थित, मुख्यमंत्री आवास को छोड़कर सरकार द्वारा नियोजित चपरासी के दो कमरे के मकान से कभी शासन नहीं किया था। बिहार के किसी मुख्यमंत्री ने कभी एक पेड़ के नीचे सभा नहीं की थी। बिहार के किसी मुख्यमंत्री ने गाँव की चौपाल के तरीके से, खुले आसमान के नीचे सीमेंट के मंच पर मंत्रिमंडल की बैठक कभी आयोजित नहीं की थी। बिहार के किसी मुख्यमंत्री ने राज्य के ऊँचे और असरदार अधिकारियों को पटना पशु चिकित्सा महाविद्यालय परिसर की सड़कों पर तलब करके उनकी बर्खास्तगी को सार्वजनि तौर पर नहीं किया था। बिहार के किसी मुख्यमंत्री ने एक हवलदार की तरह शराब की दुकानों पर छापे मारकर मौके पर ही उनके लाइसेंस रद्द नहीं किए थे। बिहार का कोई मुख्यमंत्री बुखार से पीडि़त अपने बेटे के इलाज के लिए पटना मेडिकल कॉलेज अस्पताल की लाइन में जनसाधारण के साथ खड़ा नहीं हुआ था। बिहार के किसी मुख्यमंत्री ने अपने पूर्ववर्तियों की शृंखला द्वारा स्थापित शैली और संरचना का इतनी तेजी से और उनके पास हर बात का एक ही जवाब था, ‘‘हम चीफ मिनिस्टर हैं, हम सब जानते हैं। जैसा हम कहते हैं, वैसा कीजिए।’’
लालकृष्ण आडवाणी की राम रथयात्रा ने लालू यादव को लोगों को राजनीति के फर्श से अर्श पर पहुंचा दिया। लालू यादव ने 22 अक्तूबर, 1990 की रात आपदा प्रबंधन दल के दो सदस्यों राज कुमार सिंह(वर्तमान में सांसद और केंद्र में मंत्री है), जो उस समय बिहार सरकार के सचिव स्तर के अधिकारी थे और रामेश्वर ओराँव, जो बिहार पुलिस के उप-महानिरीक्षक थे, को आडवाणी के राम रथयात्रा का व्यक्तिगत रूप से निर्देश देकर समस्तीपुर रवाना कर दिया। उन्हें निर्देश दिया कि ‘‘आडवाणी को कम-से-कम उपद्रव के साथ गिरफ्तार करके हमें रिपोर्ट करिए।’’ अगले दिन ही सुबह आडवाणी की रथयात्रा समस्तीपुर में रोक ली गई और आडवाणी को गिरफ्तार कर लिया गया।
इस घटना के बाद लालू यादव ने रातों रात राष्ट्रीय सुर्खियों में छा गए। वे फौरन ही देश भर के मुसलमानों और वामपंथी उदारवादी बुद्धिजीवियों के चहेते बन गए। साथ ही अल्पसंख्यकों और दलितों के वीर उद्धारक भी बन गए।
लालू यादव पिछड़ी जातियां और अल्पसंख्यक वर्ग के चहते बन गए। उनके बात करने का अंदाज लोगों को अपना-सा लगता था। जिससे लोग उन्हें अपना मसीहा मान बैठे।
Image Source -Dainik Jagran, Starunfolded
#nukkadcorner #laluyadav #Rjd #biharpolitics
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बिहार : हनीमून वाले बयान पर भड़के तेजप्रताप यादव, पोल खोलने की दी धमकी
बिहार : हनीमून वाले बयान पर भड़के तेजप्रताप यादव, पोल खोलने की दी धमकी
न्यूज डेस्क, अमर उजाला, पटना
Updated Sat, 09 Jan 2021 01:55 PM IST
तेज प्रताप यादव
– फोटो : ANI
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बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री जीतनराम मांझी का तेजस्वी यादव के खिलाफ दिए गए हनीमून वाले बयान पर विवाद बढ़ गया है। विवाद इतना बढ़ गया कि पूर्व मुख्यमंत्री लालू प्रसाद यादव के बेटे ने तेजप्रताप यादव…
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Lalu Prasad Bail Again Did Not Get Bail From Ranchi Highcourt Today Next Hearing Will Be On 11 December - लालू यादव को आज फिर नहीं मिली जमानत, अब 11 दिसंबर को होगी अगली सुनवाई
Lalu Prasad Bail Again Did Not Get Bail From Ranchi Highcourt Today Next Hearing Will Be On 11 December – लालू यादव को आज फिर नहीं मिली जमानत, अब 11 दिसंबर को होगी अगली सुनवाई
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न्यूज डेस्क, अमर उजाला, रांची
Updated Fri, 27 Nov 2020 12:58 PM IST
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चारा घोटाला के चार मामलों में सजा काट रहे राष्ट्रीय जनता दल (राजद) के अध्यक्ष लालू प्रसाद यादव की जमानत याचिका पर शुक्रवार को रांची उच्च न्यायालय में एक बार फिर सुनवाई टाल गई…
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